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LIC को GST छूट का मिला बड़ा लाभ: पहले दिन ही 1,100 करोड़ का निवेश

भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) ने 22 सितंबर 2025 को GST छूट के पहले दिन 1,100 करोड़ रुपये का निवेश प्राप्त किया। इस लेख में हम जानेंगे कि कैसे यह बदलाव बीमा क्षेत्र में तेजी लाने में मदद कर रहा है, मासिक प्रीमियम में वृद्धि का प्रभाव, और नई पॉलिसियों की संख्या में कमी के पीछे के कारण। इसके अलावा, निजी बीमा कंपनियों की तुलना में LIC की स्थिति पर भी चर्चा की जाएगी।
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LIC को GST छूट का मिला बड़ा लाभ: पहले दिन ही 1,100 करोड़ का निवेश

LIC GST छूट का प्रभाव

LIC GST छूट: भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) ने 22 सितंबर 2025 को जीवन बीमा पॉलिसियों पर वस्तु एवं सेवा कर (GST) हटने के पहले दिन ही 1,100 करोड़ रुपये से अधिक का निवेश प्राप्त किया। यह आंकड़ा बीमा क्षेत्र में तेजी का संकेत देता है। वित्तीय विशेषज्ञों का मानना है कि इस निवेश का अधिकांश हिस्सा नियमित एंडोमेंट उत्पादों से आया है, न कि किसी नए उत्पाद के लॉन्च से।


मासिक प्रीमियम में वृद्धि का प्रभाव

अगस्त 2025 में LIC ने खुदरा पॉलिसीधारकों से लगभग 5,000 करोड़ रुपये का मासिक प्रीमियम प्राप्त किया था। इसके विपरीत, जीएसटी छूट लागू होने के पहले कुछ हफ्तों में बिक्री में कमी आई थी, क्योंकि ग्राहक और एजेंट कर छूट की उम्मीद में खरीदारी करने से बच रहे थे। अधिकारियों का कहना है कि सितंबर की शुरुआत में बिक्री पिछले वर्ष की तुलना में कम रही।


नए जीएसटी टैक्स स्लैब का प्रभाव

नई दो-दर संरचना में अब टर्म, यूनिट-लिंक्ड और पारंपरिक जीवन बीमा उत्पादों के साथ-साथ फैमिली फ्लोटर्स और वरिष्ठ नागरिक योजनाओं जैसे स्वास्थ्य कवर भी शामिल हैं। यह बदलाव बीमा उत्पादों को अधिक किफायती बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। नई व्यवस्था लागू होते ही दबी हुई मांग तेजी से सामने आई और LIC को पहले दिन भारी निवेश प्राप्त हुआ।


दीर्घकालिक आकलन में समय लगेगा

बीमा क्षेत्र के विशेषज्ञों का मानना है कि इस क्षेत्र के दीर्घकालिक रुझान का आकलन करने में कई महीने लग सकते हैं। हाल के महीनों में बीमा पॉलिसियों के टिकट आकार में वृद्धि हुई है। जीएसटी छूट के कारण प्रीमियम लागत में कमी आई है, जिससे कुछ खरीदारों के लिए वार्षिक प्रीमियम में वृद्धि की प्रतिबद्धता करना आसान हो सकता है।


नई पॉलिसियों की संख्या में कमी

हालांकि निवेश राशि में वृद्धि हुई है, लेकिन जारी की गई नई पॉलिसियों की संख्या में कमी आई है। अप्रैल से अगस्त 2025 के बीच नए व्यावसायिक प्रीमियम में पिछले वर्ष की तुलना में 6.2% की वृद्धि हुई, जो मुख्य रूप से पॉलिसियों की संख्या में वृद्धि नहीं, बल्कि टिकट आकार के बढ़ने के कारण हुई।


निजी बीमा कंपनियों की तुलना

जीवन बीमा परिषद के अनुसार, निजी बीमा कंपनियों ने इसी अवधि में 10% की वृद्धि दर्ज की, जबकि LIC का नया व्यावसायिक प्रीमियम केवल 3% बढ़ा। अप्रैल से अगस्त 2025 में उद्योग का कुल नया व्यावसायिक प्रीमियम 1,54,193 करोड़ रुपये से बढ़कर 1,63,461 करोड़ रुपये हो गया। इस दौरान जारी की गई पॉलिसियों की संख्या में 8.9% की गिरावट आई।