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अमेरिकी फेडरल रिजर्व ने ब्याज दरों में की कटौती, भारत पर संभावित प्रभाव

अमेरिकी फेडरल रिजर्व ने ब्याज दरों में 0.25% की कटौती की है, जिसका प्रभाव वैश्विक वित्तीय बाजारों पर पड़ेगा। इस निर्णय से भारत के शेयर बाजार में तेजी की उम्मीद है। विशेषज्ञों का मानना है कि यह कटौती महंगाई पर नियंत्रण पाने में मदद कर सकती है। जानें इस महत्वपूर्ण निर्णय के पीछे के कारण और इसके संभावित प्रभावों के बारे में।
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अमेरिकी फेडरल रिजर्व ने ब्याज दरों में की कटौती, भारत पर संभावित प्रभाव

अमेरिका के केंद्रीय बैंक का महत्वपूर्ण निर्णय

US Fed Rate Cut : अमेरिका के केंद्रीय बैंक, फेडरल रिजर्व, ने बुधवार को एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया है। हाल ही में मिली जानकारी के अनुसार, फेडरल रिजर्व ने ब्याज दर में 25 बेसिस प्वाइंट (0.25%) की कमी की है। इस कटौती का प्रभाव वैश्विक वित्तीय बाजारों पर भी स्पष्ट रूप से देखा जा सकता है।


अब फेड का इंटरेस्ट रेट 4 से 4.25 प्रतिशत के बीच होगा। इस बदलाव का असर भारतीय शेयर बाजार पर गुरुवार को देखने को मिल सकता है, जहां तेजी की उम्मीद जताई जा रही है।


क्या महंगाई पर लगेगी लगाम?

क्या बढ़ती हुई मंहगाई पर लगेगी रोक?


अमेरिका में ब्याज दरों में कटौती के इस निर्णय से ट्रंप द्वारा लगाए गए टैरिफ के कारण बढ़ती महंगाई पर नियंत्रण पाने की संभावना है। फेडरल रिजर्व की यह बैठक दो दिन तक चली, जिसमें चेयरमैन जेरोम पॉवेल ने रेट कट का निर्णय लिया। बैठक के बाद जारी बयान में एफओएमसी ने बताया कि आर्थिक गतिविधियों में कमी आई है और रोजगार की गति भी धीमी हुई है। इसके साथ ही, अमेरिका में महंगाई में भी कुछ वृद्धि देखी गई है। फेड ने इस साल के अंत तक और कटौती के संकेत भी दिए हैं।


हालांकि, विशेषज्ञों का मानना है कि विदेशी संस्थागत निवेशक (एफआईआई) भारत से लंबे समय तक दूर नहीं रह सकते, क्योंकि यह दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्थाओं में से एक है। हाल के कर सुधार, अच्छे मानसून और मौद्रिक नरमी ने देश के विकास की संभावनाओं को और उज्जवल बना दिया है।