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आईसीआईसीआई बैंक ने बचत खातों के लिए न्यूनतम शेष राशि बढ़ाई

आईसीआईसीआई बैंक ने एक अगस्त 2023 से नए बचत बैंक खातों के लिए न्यूनतम शेष राशि को 50,000 रुपये कर दिया है। यह बदलाव पुराने खाताधारकों पर लागू नहीं होगा। जानें इस नए नियम के तहत ग्राहकों को क्या सुविधाएं मिलेंगी और जुर्माने की नई दरें क्या होंगी।
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आईसीआईसीआई बैंक ने बचत खातों के लिए न्यूनतम शेष राशि बढ़ाई

नए नियमों की जानकारी

आईसीआईसीआई बैंक ने एक अगस्त 2023 या उसके बाद खोले जाने वाले नए बचत बैंक खातों के लिए न्यूनतम शेष राशि की आवश्यकता को पांच गुना बढ़ाकर 50,000 रुपये कर दिया है।


इससे पहले, 31 जुलाई 2025 तक, ग्राहकों को अपने बचत खातों में न्यूनतम मासिक औसत शेष राशि (एमएबी) 10,000 रुपये रखनी थी। बैंक की वेबसाइट पर उपलब्ध जानकारी के अनुसार, अर्ध-शहरी क्षेत्रों में यह सीमा 25,000 रुपये और ग्रामीण क्षेत्रों में 10,000 रुपये निर्धारित की गई है।


यदि खाताधारक निर्धारित एमएबी को बनाए रखने में असफल रहते हैं, तो उन्हें कमी की राशि पर 6 प्रतिशत या 500 रुपये (जो भी कम हो) जुर्माना देना होगा।


ब्याज दर और पुराने खाताधारकों के लिए नियम

बैंक की वेबसाइट के अनुसार, बचत खाते में जमा राशि पर सालाना 2.5 प्रतिशत ब्याज मिलेगा। यह नया नियम केवल एक अगस्त 2025 के बाद खोले गए खातों पर लागू होगा, जबकि पुराने खाताधारकों के लिए पुरानी राशि सीमा बनी रहेगी।


विशेष सुविधाएं और छूट

सैलरी अकाउंट, प्रधानमंत्री जनधन खाते और बेसिक सेविंग्स बैंक डिपॉजिट अकाउंट धारकों को इस नए नियम से छूट मिलेगी, क्योंकि ये जीरो बैलेंस खाते हैं।


जिन ग्राहकों के खातों में निर्धारित सीमा से अधिक राशि होगी, उन्हें कुछ विशेष सुविधाएं प्राप्त होंगी, जैसे मुफ्त एनईएफटी धन हस्तांतरण और महीने में तीन बार मुफ्त नकद लेनदेन। इसके बाद हर नकद लेनदेन पर 150 रुपये का शुल्क लगेगा, जिस पर जीएसटी भी लागू होगा।


यह एमएबी में वृद्धि ऐसे समय में हुई है जब सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों ने अपने जुर्माने को या तो तर्कसंगत बना दिया है या पूरी तरह से माफ कर दिया है।