डोनाल्ड ट्रंप का व्यापार समझौता: जापान से अमेरिका को अरबों का निवेश
ट्रंप का व्यापारिक दबाव
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने विभिन्न देशों के साथ व्यापारिक संबंधों में दबाव डालना शुरू कर दिया है। उन्होंने भारत के साथ व्यापार समझौता करने की कोशिश की है, जबकि चीन के साथ भी उन्होंने इसी तरह का दबाव बनाया था। ट्रंप ने हाल ही में जापान के साथ एक महत्वपूर्ण व्यापार समझौते की घोषणा की है, जिसमें केवल 15 प्रतिशत टैरिफ लगाया जाएगा। इसके बदले में, जापान अमेरिका में 550 अरब डॉलर का निवेश करेगा।पिछले महीने, भारत ने जापान की अर्थव्यवस्था को पीछे छोड़ दिया था, और अब अमेरिका ने जापान को झुकने पर मजबूर कर दिया है। जापान का यह निवेश अमेरिका में लाखों नौकरियों का सृजन कर सकता है। जापान का ऑटोमोबाइल उद्योग बहुत बड़ा है, और इस सौदे के तहत जापानी कंपनियों को अमेरिका में परियोजनाएँ स्थापित करने के लिए प्रेरित किया जा सकता है।
इस समझौते से अमेरिका को कई लाभ होंगे। जापान न केवल अमेरिका में अरबों डॉलर का निवेश करेगा, बल्कि अमेरिकी कारों, चावल और कृषि उत्पादों के लिए जापानी बाजार भी खुल जाएगा। इसके बदले में, अमेरिका में जापानी सामान पर केवल 15 प्रतिशत कर लगेगा, जिससे अमेरिकी कंपनियों और किसानों को रोजगार के अवसर मिलेंगे। इससे अमेरिका को 90 प्रतिशत मुनाफा होने की उम्मीद है।
अमेरिका भारत के साथ भी इसी तरह का समझौता करना चाहता है, जिसमें वह अपने कृषि उत्पाद, जैसे दूध, भारत को बेचना चाहता है। हालांकि, इस योजना का विरोध भी हो रहा है। पिछले महीने अमेरिका के साथ व्यापार समझौते में देरी हुई थी, और अब यह सितंबर-अक्टूबर के बीच होने की संभावना है। उद्योग जगत और किसान इस बात पर ध्यान दे रहे हैं कि भारत ट्रंप की धमकियों के आगे झुकता है या नहीं।
अमेरिका द्वारा 1 अगस्त से भारतीय वस्तुओं पर 20 से 26 प्रतिशत कर लगाने की संभावना है, क्योंकि यह सौदा ट्रंप द्वारा दिए गए अल्टीमेटम के अनुसार पूरा नहीं हो पाया है।