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भारतीय रिजर्व बैंक की ब्याज दरों में कटौती की संभावना कम

भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा ब्याज दरों में कटौती की संभावना इस वर्ष बहुत कम है, जिससे होम लोन और कार लोन की EMI में कमी की उम्मीद करने वालों को निराशा हो सकती है। महंगाई के बढ़ते आंकड़ों ने RBI को ब्याज दरें घटाने से रोका है। विशेषज्ञों का मानना है कि अगले साल की शुरुआत में ही ब्याज दरों में कमी की संभावना बन सकती है, लेकिन इसके लिए महंगाई को नियंत्रण में रखना आवश्यक होगा।
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भारतीय रिजर्व बैंक की ब्याज दरों में कटौती की संभावना कम

ब्याज दरों में कमी की उम्मीदें धूमिल

जो लोग अपने होम लोन या कार लोन की EMI में कमी की उम्मीद कर रहे हैं, उनके लिए यह खबर निराशाजनक हो सकती है। हाल ही में आई एक रिपोर्ट के अनुसार, भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) द्वारा इस वर्ष ब्याज दरों में कटौती की संभावना बहुत कम है। इसका अर्थ है कि आपके लोन की दरें अभी सस्ती नहीं होंगी।


महंगाई के कारण राहत की उम्मीदें कम हुई हैं। अगस्त महीने के लिए खुदरा महंगाई का आंकड़ा 2.07% रहा, जो RBI के 2-6% के संतोषजनक दायरे में है, लेकिन यह RBI के आदर्श लक्ष्य (2%) से थोड़ा अधिक है।


बैंक ऑफ बड़ौदा के अर्थशास्त्रियों की रिपोर्ट में कहा गया है कि यह महंगाई का आंकड़ा RBI को ब्याज दरें घटाने से रोक सकता है।


रिपोर्ट के अनुसार, RBI की मौद्रिक नीति समिति (MPC) इस साल कोई जोखिम नहीं लेना चाहती है। वे महंगाई के आंकड़ों पर ध्यान देंगे और मौजूदा स्थिति बनाए रखेंगे, यानी रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं होगा।


अर्थशास्त्रियों का मानना है कि RBI ब्याज दरों में कटौती पर विचार अगले साल की शुरुआत में कर सकता है, संभवतः फरवरी या अप्रैल 2026 की बैठक में, लेकिन यह तभी संभव होगा जब महंगाई दर कुछ और महीनों तक नियंत्रण में बनी रहे।


इस त्योहारी सीजन में आम जनता को राहत की कोई उम्मीद नहीं दिख रही है। जो लोग ब्याज दरों में कमी की उम्मीद कर रहे थे, उन्हें अभी और इंतजार करना होगा।