महिला पुलिस की टीम ने विद्यार्थियों को ‘गुड टच’ और ‘बैड टच’ की जानकारी दी

महेंद्रगढ़ में जागरूकता कार्यक्रम
महेंद्रगढ़ के कनीना स्थित मॉडल संस्कृति सीनियर सेकेंडरी स्कूल में महिला पुलिस की टीम ने विद्यार्थियों के लिए एक जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया। इस कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य छात्रों को ‘गुड टच’ (अच्छा स्पर्श) और ‘बैड टच’ (बुरा स्पर्श) के बारे में जानकारी देना और उन्हें यौन शोषण से बचाने के लिए जागरूक करना था।
महिला पुलिस निरीक्षक शारदा और उनकी टीम ने विद्यार्थियों को सरल भाषा में ‘गुड टच’ और ‘बैड टच’ के बीच का अंतर समझाया। उन्होंने बताया कि कौन सा स्पर्श सुरक्षित और आरामदायक होता है और कौन सा असहज, डरावना या भ्रमित करने वाला हो सकता है।
टीम ने विद्यार्थियों को यह भी बताया कि यदि उन्हें कोई ‘बैड टच’ महसूस होता है तो उन्हें क्या करना चाहिए। उन्होंने समझाया कि यदि कोई गलत इरादे से छूता है, तो उसे तुरंत रोकना चाहिए। इसके अलावा, विद्यार्थियों को यह भी बताया गया कि ऐसे मामलों में उन्हें अपने माता-पिता, शिक्षक या परिवार के किसी सदस्य को सूचित करना चाहिए।
महिलाओं और बालिकाओं की सुरक्षा के लिए पुलिस विभाग की पहल
टीम ने महिलाओं और बालिकाओं की सुरक्षा के लिए पुलिस विभाग द्वारा उपलब्ध कराई जा रही सुविधाओं के बारे में भी जानकारी दी। यह आवश्यक है कि बालिकाओं को इस विषय में जागरूक किया जाए ताकि वे किसी भी प्रकार के अपराध के खिलाफ खड़ी हो सकें और पुलिस की सहायता लेने में संकोच न करें।
इस दौरान, पॉक्सो एक्ट के तहत यौन अपराधों की विस्तृत परिभाषा भी विद्यार्थियों को बताई गई। बताया गया कि बाल यौन शोषण में बच्चों के किसी अंग को गलत तरीके से छूना, निजी अंगों पर टिप्पणी करना, गलत तस्वीरें दिखाना और अन्य ऐसे शारीरिक संपर्क शामिल हैं, जिससे बच्चे असहज महसूस करते हैं। विद्यार्थियों को यह भी बताया गया कि ऐसे मामलों की रिपोर्ट कैसे करें और उन्हें संकोच नहीं करना चाहिए।