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महाराष्ट्र में महा विकास अघाड़ी की एकजुटता: वोट गड़बड़ी पर चर्चा

महाराष्ट्र में महा विकास अघाड़ी के घटक दलों ने वोट गड़बड़ी के मुद्दे पर एकजुटता दिखाई है। इस प्रदर्शन में कांग्रेस और एनसीपी के नेता शामिल हुए। हालांकि, राज ठाकरे की पार्टी अभी आधिकारिक रूप से गठबंधन का हिस्सा नहीं है। आगामी स्थानीय निकाय चुनावों के लिए सीटों के बंटवारे पर बातचीत चल रही है। जानें कि क्या ये दल मिलकर चुनाव लड़ेंगे या अलग-अलग रणनीति अपनाएंगे।
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महाराष्ट्र में महा विकास अघाड़ी की एकजुटता: वोट गड़बड़ी पर चर्चा

महा विकास अघाड़ी का प्रदर्शन

महाराष्ट्र में वोटिंग में गड़बड़ी के मुद्दे पर महा विकास अघाड़ी (एमवीए) के सभी घटक दल एकजुट हुए हैं। लंबे समय के बाद, इन दलों ने मुंबई में एक प्रदर्शन आयोजित किया, जिसमें कांग्रेस के नेता बाला साहेब थोराट और शरद पवार भी शामिल हुए। कांग्रेस ने उद्धव ठाकरे के राज ठाकरे को गठबंधन में शामिल करने पर आपत्ति जताई है। हालांकि, राज ठाकरे की पार्टी, महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे), अभी आधिकारिक रूप से एमवीए का हिस्सा नहीं है, लेकिन उद्धव ने स्थानीय निकाय चुनाव में उनके साथ लड़ने का इरादा स्पष्ट किया है। दोनों दलों के बीच सीटों के बंटवारे पर बातचीत चल रही है।


स्थानीय निकाय चुनाव की रणनीति

अब सवाल यह है कि क्या महा विकास अघाड़ी मिलकर स्थानीय निकाय चुनाव लड़ेगा या मुंबई में शनिवार को दिखाई गई एकजुटता केवल वोट गड़बड़ी तक सीमित है? राहुल गांधी के लिए वोट गड़बड़ी का मुद्दा महत्वपूर्ण है, इसलिए कांग्रेस इस पर किसी भी आंदोलन के लिए तैयार है। खबरें हैं कि कांग्रेस यह विचार कर रही है कि वह उद्धव और राज ठाकरे के साथ सीधे नहीं लड़ेगी। इसके बजाय, वे टैक्टिकल अलायंस के माध्यम से चुनाव लड़ने की योजना बना रहे हैं, जिसमें कुछ सीटों का समायोजन शामिल होगा। हालांकि, अधिकांश नेता मानते हैं कि बीएमसी चुनाव में मुस्लिम वोटों को शिवसेना की ओर आकर्षित करने के लिए कांग्रेस और एनसीपी का एक साथ रहना आवश्यक है। वहीं, उद्धव और राज ठाकरे का मानना है कि यदि मुस्लिम वोट उनके खिलाफ पड़े, तो मराठी मानुष और हिंदुत्व का वोट उनके पक्ष में आएगा। इस पर आगे की रणनीति बनाई जाएगी।