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गूगल का नया फीचर: बैंकिंग धोखाधड़ी से सुरक्षा के लिए उठाया कदम

गूगल ने एंड्रॉइड सुरक्षा में एक नया फीचर पेश किया है, जो बैंकिंग धोखाधड़ी से यूज़र्स की रक्षा करेगा। यह फीचर उन क्षणों में सक्रिय होता है जब यूज़र्स अनजान कॉलर से बात कर रहे होते हैं और वित्तीय ऐप खोल रहे होते हैं। इसमें 30 सेकंड का समय लेने का विकल्प भी है, जो यूज़र्स को सोचने का मौका देता है। भारत इस सुविधा का पायलट प्रोजेक्ट शुरू करने वाले पहले देशों में से एक है। जानें इस नई पहल के बारे में और कैसे यह आपके लिए फायदेमंद हो सकता है।
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गूगल का नया फीचर: बैंकिंग धोखाधड़ी से सुरक्षा के लिए उठाया कदम

गूगल की नई सुरक्षा पहल


नई दिल्ली: मोबाइल पर बैंकिंग धोखाधड़ी की घटनाएं तेजी से बढ़ रही हैं, ऐसे में गूगल ने एंड्रॉइड सुरक्षा को एक नई दिशा देने का निर्णय लिया है। कंपनी अब उन क्षणों में यूज़र्स की सुरक्षा करेगी जब वे सबसे अधिक जोखिम में होते हैं।


धोखेबाज़ अक्सर बैंक के अधिकारी बनकर कॉल करते हैं और यूज़र्स को किसी पेमेंट ऐप में तुरंत लॉगिन करने के लिए मजबूर करते हैं। गूगल का नया फीचर ऐसे संवेदनशील क्षणों में चेतावनी देकर धोखाधड़ी को रोकने में मदद करेगा।


कैसे काम करता है यह फीचर?

जैसे ही एंड्रॉयड किसी जोखिम भरे संयोजन का पता लगाता है, सुरक्षा उपाय तुरंत सक्रिय हो जाता है:



  • आप किसी ऐसे नंबर से कॉल पर हैं जो आपके संपर्कों में नहीं है

  • आप एक वित्तीय ऐप खोल रहे हैं


यदि दोनों स्थितियाँ एक साथ होती हैं, तो फोन एक चमकदार चेतावनी दिखाता है, जो कहता है, 'रुको, कुछ गड़बड़ लग रही है।' एक टैप से, आप कॉल समाप्त कर सकते हैं या स्क्रीन शेयरिंग को ब्लॉक कर सकते हैं, जिससे आप स्थिति को बिगड़ने से पहले ही संभाल सकते हैं।


30 सेकंड का समय लेने का विकल्प

यदि आप आगे बढ़ने पर अड़े रहते हैं, तो इसमें 30 सेकंड का समय लेने का विकल्प भी है। गूगल के अनुसार, यह जानबूझकर किया गया है ताकि स्कैमर्स द्वारा उत्पन्न घबराहट को कम किया जा सके। कई पीड़ित तब तक नहीं समझ पाते जब तक कि उनके पैसे गायब नहीं हो जाते, इसलिए यह विराम उपयोगकर्ताओं को सोचने का मौका देता है।


भारत की भूमिका

गूगल ने अपने ब्लॉग में बताया कि भारत इस सुविधा का पायलट प्रोजेक्ट शुरू करने वाले पहले देशों में से एक है। यह रोलआउट गूगल पे, नवी और पेटीएम के सहयोग से हो रहा है। एंड्रॉइड 11 और उसके बाद के वर्ज़न पर चलने वाले डिवाइस अब अनजान कॉलर के साथ स्क्रीन शेयर करते समय इन ऐप्स को खोलने पर यूज़र्स को चेतावनी देंगे।


गूगल की प्रतिक्रिया

यह सुविधा केवल प्रायोगिक नहीं है, बल्कि इसकी उपयोगिता सिद्ध हो चुकी है। गूगल का कहना है कि ब्रिटेन में इसी तरह के एक पायलट प्रोजेक्ट ने हजारों लोगों को समय पर स्कैम कॉल्स से बाहर निकलने में मदद की। इस सफलता के बाद, कंपनी ने ब्रिटेन के अधिकांश बड़े बैंकों को भी इस सुविधा का लाभ दिया है, और ब्राज़ील और भारत में भी नए पायलट प्रोजेक्ट चल रहे हैं।