पिंजौर आम मेला 2025: मोदी और नायब आमों की खासियत

पिंजौर आम मेला 2025: आमों की विविधता का उत्सव
पिंजौर के यादविन्द्रा गार्डन में 32वां आम मेला शुक्रवार से आरंभ हुआ। यह मेला तीन दिनों तक चलेगा, जिसमें हरियाणा, पंजाब, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, गुजरात और हिमाचल प्रदेश के किसान 500 से अधिक किस्मों के आम लेकर आए हैं। इस अवसर पर 'मोदी' और 'नायब' आम विशेष आकर्षण का केंद्र बने हुए हैं। मेले का उद्घाटन पर्यटन मंत्री डॉ. अरविंद शर्मा और कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री श्याम सिंह राणा ने किया। शनिवार को मेले में सुभाष घोष का क्लासिकल फ्यूजन और अंशु शर्मा का हरियाणवी फोक प्रदर्शन होगा।
पिंजौर आम मेला 2025: किस्मों का जलवा
पिंजौर आम मेला हर साल आम प्रेमियों के लिए एक अद्भुत अनुभव बनता है, और इस बार भी ऐसा ही है। मेले में हरियाणा, पंजाब, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, गुजरात और हिमाचल के किसानों ने अपने बागों से 500 से अधिक किस्मों के आम लाए हैं। यहां दशहरी, लंगड़ा, चौंसा जैसे आमों के साथ-साथ अनोखे नामों वाले आम भी उपलब्ध हैं। मेले में सांस्कृतिक कार्यक्रम भी धूमधाम से आयोजित किए जाएंगे। शनिवार को सुभाष घोष का क्लासिकल फ्यूजन और अंशु शर्मा की हरियाणवी फोक प्रस्तुति दर्शकों का मन मोह लेगी। यह मेला केवल आमों का नहीं, बल्कि संस्कृति और स्वाद का उत्सव है।
पिंजौर आम मेला सिर्फ आमों का प्रदर्शन नहीं है, बल्कि यह किसानों की मेहनत और भारत की विविधता का उत्सव है। यह मेला स्थानीय किसानों को अपनी उपज प्रदर्शित करने का अवसर प्रदान करता है और पर्यटकों को एक अनोखा अनुभव देता है। सांस्कृतिक कार्यक्रम, स्वादिष्ट आम और रंग-बिरंगी सजावट इस मेले को यादगार बनाती है। यदि आप पिंजौर के आसपास हैं, तो इस मेले में अवश्य आएं। आमों की महक और सांस्कृतिक रंगों का यह संगम आपके दिल को छू लेगा।
मोदी आम का आकर्षण
मलिहाबाद के किसान शादाब अली ने बताया कि एक मोदी आम का वजन लगभग डेढ़ किलो होता है। एक पेड़ की ऊंचाई 10-12 फुट होती है और एक पेड़ पर 10-12 फल ही होते हैं। इस फल को मोदी के नाम से रजिस्टर करवाने की योजना है।
मलिहाबाद से आया नायब आम
नायब आम लखनऊ के मलिहाबाद से आया है। किसान गोपाल ने बताया कि जुलाई से नायब आम पकना शुरू होता है और 15 जुलाई के बाद इसे बाजार में उतारा जाता है। एक पेड़ पर 150 से 200 फल लगते हैं। मलिहाबाद में 500 से अधिक किस्मों के आम होते हैं।