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हैदराबाद में इंजीनियरिंग छात्र की आत्महत्या: क्या सीनियर्स की प्रताड़ना है वजह?

हैदराबाद के सिद्धार्था इंजीनियरिंग कॉलेज में 22 वर्षीय छात्र जडाव साई तेजा की आत्महत्या ने कॉलेज में शोक का माहौल बना दिया है। तेजा ने अपने अंतिम क्षणों में एक वीडियो रिकॉर्ड किया, जिसमें उसने सीनियर्स द्वारा प्रताड़ना और पैसे की मांग का आरोप लगाया। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है, जिसमें वीडियो और गवाहों के बयान शामिल हैं। इस घटना ने शिक्षा संस्थानों में मानसिक स्वास्थ्य और छात्रों की सुरक्षा पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।
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हैदराबाद में इंजीनियरिंग छात्र की आत्महत्या: क्या सीनियर्स की प्रताड़ना है वजह?

हैदराबाद में छात्र की आत्महत्या की घटना

हैदराबाद में इंजीनियरिंग छात्र की आत्महत्या: सोमवार की सुबह, सिद्धार्था इंजीनियरिंग कॉलेज में 22 वर्षीय छात्र जडाव साई तेजा का शव मिला। इस घटना ने कॉलेज में शोक और चिंता का माहौल बना दिया है। तेजा ने अपने अंतिम क्षणों में एक वीडियो रिकॉर्ड किया, जिसमें उसने मदद की गुहार लगाई और आरोप लगाया कि सीनियर छात्रों ने उसे पीटा और पैसे की मांग की।


तेजा के परिवार के सदस्य आदिलाबाद से कॉलेज पहुंचे और उन्होंने इस मामले की गंभीर जांच की मांग की है। पुलिस ने भी मामले की जांच शुरू कर दी है, जिसमें छात्र के वीडियो, हॉस्टल के छात्रों और स्टाफ के बयान, और सीसीटीवी फुटेज की जांच की जा रही है।


पुलिस जांच में सामने आए तथ्य

पुलिस जांच में सामने आए तथ्य


प्रारंभिक जांच में यह सामने आया है कि तेजा को उसके सीनियर्स ने बार जाने के लिए मजबूर किया, जहां उसे शराब पीने के लिए कहा गया। इसके अलावा, उस पर लगभग 10,000 रुपये का बिल चुकाने का दबाव भी डाला गया। वीडियो में तेजा ने बताया कि उसे शारीरिक और मानसिक प्रताड़ना का सामना करना पड़ा और पैसे की मांग की गई। पुलिस ने कॉलेज प्रशासन से पूरी जानकारी मांगी है ताकि घटना के हर पहलू की जांच की जा सके।


IIT खरगपुर में संदिग्ध आत्महत्या की श्रृंखला

IIT खरगपुर में पांचवीं संदिग्ध आत्महत्या


इससे पहले, शनिवार को IIT खरगपुर में एक पीएचडी छात्र हर्ष कुमार पांडेय ने अपने हॉस्टल में आत्महत्या कर ली थी। वह रांची के निवासी थे और मैकेनिकल इंजीनियरिंग में डॉक्टरेट कर रहे थे। यह इस वर्ष उस प्रतिष्ठित संस्थान में संदिग्ध आत्महत्या की पांचवीं घटना है। IIT खरगपुर के प्रवक्ता ने बताया कि उनके माता-पिता उनसे संपर्क नहीं कर पाए और कमरे का दरवाजा अंदर से बंद था। पुलिस को सूचित करने के बाद, कमरे में जाकर उनका शव फांसी पर लटका पाया गया। संस्थान ने एक तथ्य-जांच टीम का गठन किया है और प्रशासन ने FIR दर्ज कराने और पुलिस जांच में सहयोग करने का आश्वासन दिया है।


यह घटनाएं छात्रों और शैक्षणिक संस्थानों के लिए एक चेतावनी हैं कि मानसिक दबाव और प्रताड़ना के मामलों को नजरअंदाज नहीं किया जाना चाहिए। छात्र की मौत ने शिक्षा संस्थानों में मानसिक स्वास्थ्य और छात्रों की सुरक्षा पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।