14 जून 2025 का पंचांग: शुभ मुहूर्त और राहु काल की जानकारी

आज का पंचांग
14 जून 2025 का पंचांग: आज 14 जून, 2025 को आषाढ़ माह का दूसरा दिन है और यह कृष्ण पक्ष की तृतीया तिथि है। आज का दिन 13 घंटे 57 मिनट 19 सेकंड लंबा होगा, जबकि रात का समय 10 घंटे 2 मिनट 45 सेकंड का होगा। वैदिक ज्योतिष के अनुसार, यह ग्रीष्म ऋतु का समय है और सूर्य उत्तरायण में गोचर कर रहे हैं।
आइए जानते हैं कि 14 जून के पंचांग के पांच अंगों - तिथि, नक्षत्र, वार, योग और करण की क्या स्थिति है। आज का कौन-सा समय आपके लिए शुभ सिद्ध हो सकता है और राहु काल का समय क्या है?
तिथि
आज आषाढ़ मास के कृष्ण पक्ष की तृतीया तिथि है, जो 14 जून को 03:18 PM तक रहेगी। इसके बाद चतुर्थी तिथि का आरंभ होगा।
तृतीया तिथि को जया तिथि माना जाता है, जिसकी स्वामिनी मां गौरी हैं। यह तिथि शुभ मुहूर्तों में मानी जाती है।
नक्षत्र
आज की शुरुआत उत्तराषाढ़ा नक्षत्र से होगी, जो 15 जून को 12:22 AM तक रहेगा। यह एक शुभ नक्षत्र है। इसके बाद श्रवण नक्षत्र का आरंभ होगा।
दिन/वार
आज शनिवार है, जो बजरंग बली हनुमान जी और भगवान शनिदेव की पूजा का विशेष दिन माना जाता है।
योग
आज का दिन ब्रह्म योग से शुरू होगा, जो 14 जून को 01:13 PM तक रहेगा। इसके बाद इंद्र योग का आरंभ होगा।
आज सर्वार्थ सिद्धि योग भी बन रहा है, जिससे यह दिन विशेष बन गया है। इन योगों की अवधि नीचे देखी जा सकती है।
करण
आज 03:46 PM तक विष्टि करण का प्रभाव रहेगा, इसके बाद बव करण का आरंभ होगा, जो 14 जून को 03:35 AM तक रहेगा। इसके बाद बालव करण शुरू होगा।
सूर्य-चंद्र गोचर
आज के पंचांग के अनुसार, सूर्य वृषभ राशि में गोचर कर रहे हैं, जबकि चंद्रमा धनु राशि में गोचर कर रहे हैं। चंद्रमा 05:38 AM तक धनु में रहेंगे और फिर मकर राशि में प्रवेश करेंगे।
शुभ-अशुभ काल
आज शुभ मुहूर्त:
ब्रह्म मुहूर्त: 04:02 AM से 04:43 AM
प्रातः सन्ध्या: 04:23 AM से 05:23 AM
अभिजित मुहूर्त: 11:54 AM से 12:49 PM
विजय मुहूर्त: 02:41 PM से 03:37 PM
गोधूलि मुहूर्त: 07:19 PM से 07:39 PM
सायाह्न सन्ध्या: 07:20 PM से 08:20 PM
अमृत काल: 05:41 PM से 07:21 PM
निशिता मुहर्त: 12:01 AM, जून 15 से 12:42 AM, जून 15
सर्वार्थ सिद्धि योग: 12:22 AM, जून 15 से 05:23 AM, जून 15
आज अशुभ मुहर्त:
राहुकाल: आज राहु काल 10:37 AM से 12:21 PM तक रहेगा। इस समय में कोई शुभ कार्य नहीं करना चाहिए।
राहुकाल: 08:52 AM से 10:37 AM
यमगण्ड: 02:06 PM से 03:51 PM
गुलिक काल: 05:23 AM से 07:08 AM
विष घटी/वर्ज्य काल: 07:41 AM से 09:21 AM और 04:28 AM, जून 15 से 06:06 AM, जून 15
दुर्मुहूर्त काल: 05:23 AM से 07:14 AM
भद्रा काल: 05:23 AM से 03:46 PM
14 जून 2025 के पर्व और त्योहार
आज आषाढ़ मास के कृष्ण पक्ष की तृतीया तिथि है और यह दिन शनिवार है। यह दिन हिंदू धर्म में विशेष महत्व रखता है और इसे शनिदेव को समर्पित माना जाता है।
इसके साथ ही, शनिवार का दिन बजरंगबली हनुमान जी की पूजा के लिए भी शुभ माना जाता है। हनुमान जी की भक्ति से शनि ग्रह के प्रभाव से उत्पन्न कष्टों से मुक्ति मिलती है।
कृष्णपिंगल संकष्टी चतुर्थी: यह व्रत भगवान श्री गणेश को समर्पित है, जो आषाढ़ माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को मनाया जाता है। इस दिन गणेश जी की उपासना से सुख, समृद्धि और सौभाग्य की प्राप्ति होती है।
आज की यात्रा टिप्स: आज पूर्व दिशा में यात्रा करना शुभ नहीं है।
पंचांग का महत्व
पंचांग केवल तिथियों और त्योहारों का कैलेंडर नहीं है, बल्कि यह जीवन को सफलता की ओर मार्गदर्शन करने वाला एक महत्वपूर्ण साधन है। यह ब्रह्मांड की प्राकृतिक लय के अनुसार चलने की प्रेरणा देता है।
पंचांग के पांच प्रमुख अंग:
पंचांग के पांच मुख्य घटक होते हैं, जिनका ध्यान रखकर किए गए कार्यों में सफलता की संभावना बढ़ जाती है।
वार: यह सप्ताह के दिनों का महत्व बताता है।
तिथि: चंद्र मास के अनुसार दिन की गणना का पता चलता है।
नक्षत्र: यह विशिष्ट नक्षत्रों की स्थिति बताता है।
योग: इससे खगोलीय संयोगों का महत्व पता चलता है।
करण: आधे तिथि का सूचक होता है, जो कार्यों की शुभता को प्रभावित करता है।
पंचांग का अनुसरण करके हम अपने जीवन को अधिक सफल और समृद्ध बना सकते हैं।