PM मोदी की नई टास्क फोर्स: युवाओं के लिए सरल बनाएंगे स्टार्टअप नियम

PM मोदी का स्टार्टअप पर बयान
भारत के अधिकांश युवा स्टार्टअप या व्यवसाय शुरू करने का सपना देखते हैं, लेकिन 90 प्रतिशत से अधिक युवाओं का यह सपना वास्तविकता में नहीं बदल पाता। इसके पीछे आर्थिक, मानसिक या पारिवारिक कारणों की तुलना में सबसे बड़ी बाधा सरकारी नियमों की जटिलता होती है। विभिन्न विभागों के जटिल नियम और दफ्तरों में दौड़-भाग युवाओं को नौकरी की ओर मोड़ देते हैं। लेकिन अब यह स्थिति बदलने वाली है।
केंद्र सरकार अब अपने नियमों को नई पीढ़ी के अनुरूप संशोधित करने जा रही है। स्वतंत्रता दिवस पर लाल किले से पीएम मोदी ने इस बदलाव की घोषणा की और इसके लिए एक टास्क फोर्स के गठन का ऐलान किया।
टास्क फोर्स का कार्य
पीएम मोदी ने कहा कि यह टास्क फोर्स निर्धारित समय सीमा के भीतर अपने लक्ष्यों को पूरा करेगी। यह टीम मौजूदा सरकारी नियमों, कानूनों, नीतियों और प्रक्रियाओं को 21वीं सदी के अनुरूप बनाने पर काम करेगी। साथ ही, वैश्विक मानकों का भी ध्यान रखा जाएगा।
टास्क फोर्स का उद्देश्य
पीएम मोदी ने लंबे समय से विकसित भारत की बात की है। टास्क फोर्स का गठन इसी दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। पीएम मोदी का लक्ष्य 2047 तक भारत को विकसित बनाना है। वर्तमान में उद्योगों और स्टार्टअप के नियम पुराने हो चुके हैं, और युवा पीढ़ी इन्हें जटिल मानती है। वे सरलता से व्यवसाय शुरू करने की प्रक्रिया चाहते हैं। इसी को ध्यान में रखते हुए टास्क फोर्स का गठन किया गया है।
स्टार्टअप की विफलता दर
एक रिपोर्ट के अनुसार, भारत में केवल 10 प्रतिशत युवा स्टार्टअप शुरू करते हैं, जिनमें से 90 प्रतिशत विफल हो जाते हैं। इसके पीछे फंड की कमी, प्रबंधन की गलतियां, और सरकारी नियमों की जटिलता होती है। उद्योग और आंतरिक व्यापार के लिए प्रचार विभाग (DPIIT) के अनुसार, पिछले वर्ष भारत में 1.17 लाख से अधिक स्टार्टअप पंजीकृत हुए थे।
युवाओं को मिलेगा नया साहस
टास्क फोर्स की घोषणा करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि इस सुधार के साथ नए उद्यमियों को अपने भविष्य को आकार देने के लिए प्रेरणा मिलेगी। नए नियमों से स्टार्टअप, लघु उद्योग और घरेलू उद्योगों की अनुपालन लागत में कमी आएगी, जिससे उन्हें नई ऊर्जा मिलेगी। लॉजिस्टिक्स सपोर्ट और व्यवस्थाओं में बदलाव के कारण युवाओं को एक बड़ी ताकत मिलेगी।