UPI नियमों में बदलाव: जानें नए नियम और प्रभाव

UPI नियमों में बदलाव
UPI नियमों में बदलाव: डिजिटल भुगतान अब हमारे दैनिक जीवन का अभिन्न हिस्सा बन चुका है। यदि आप Paytm, PhonePe या Google Pay जैसे ऐप्स का उपयोग करते हैं, तो यह जानकारी आपके लिए महत्वपूर्ण है। 1 अगस्त से इन ऐप्स के उपयोग में महत्वपूर्ण परिवर्तन होने जा रहे हैं।
सिस्टम पर दबाव कम होगा
भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (NPCI) ने UPI प्रणाली को और अधिक तेज, सुरक्षित और विश्वसनीय बनाने के लिए नए नियम लागू करने का निर्णय लिया है। ये नियम विशेष रूप से उन गतिविधियों को सीमित करेंगे जो सिस्टम पर अतिरिक्त दबाव डालती हैं, जैसे कि बार-बार बैलेंस चेक करना या लेन-देन की स्थिति को रिफ्रेश करना।
ये 4 नियम होंगे लागू
- आप अब एक दिन में अधिकतम 50 बार अपने खाते का बैलेंस चेक कर सकेंगे।
- आपके मोबाइल नंबर से जुड़े बैंक खातों की जांच की सीमा प्रतिदिन 25 बार होगी।
- किसी लेन-देन की स्थिति को केवल 3 बार चेक किया जा सकेगा, और हर बार कम से कम 90 सेकंड का अंतराल आवश्यक होगा।
- नेटफ्लिक्स, ईएमआई या बिजली बिल जैसे ऑटो भुगतान अब समय पर संसाधित किए जा सकेंगे।
NPCI के अनुसार, अप्रैल और मई 2025 में UPI प्रणाली पर अत्यधिक दबाव के कारण कई लेन-देन विफल या विलंबित हुए। इसका मुख्य कारण उपयोगकर्ताओं द्वारा बार-बार बैलेंस चेक करना या स्थिति को रिफ्रेश करना था। इन नए नियमों का उद्देश्य इस दबाव को कम करना है। ऑटोपे के माध्यम से भुगतान प्राप्त करने वाले व्यापारियों को अपने सिस्टम को नए समय स्लॉट के अनुसार समायोजित करना पड़ सकता है। हालांकि, सामान्य उपभोक्ताओं के लिए मोबाइल रिचार्ज या सब्सक्रिप्शन जैसी सेवाएँ पहले की तरह जारी रहेंगी।
यह ध्यान देने योग्य है कि UPI अब केवल एक तकनीकी सुविधा नहीं है, बल्कि भारत के डिजिटल जीवन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा बन चुका है। NPCI के ये नए कदम इस प्रणाली को और अधिक प्रभावी बनाने की दिशा में हैं। बदलाव आवश्यक हैं ताकि आम नागरिक बिना किसी रुकावट के अपनी चाय की दुकान पर क्यूआर कोड स्कैन कर सकें।