एसिडिटी से राहत पाने के लिए घरेलू उपाय और सावधानियाँ

खराब जीवनशैली और एसिडिटी
स्वास्थ्य समाचार: अस्वस्थ जीवनशैली और संतुलित आहार की कमी के कारण पेट की समस्याएँ बढ़ रही हैं। समय पर भोजन न करना, जल्दी-जल्दी खाना, और तला-भुना या मसालेदार भोजन का अधिक सेवन पाचन क्रिया को प्रभावित कर एसिडिटी का कारण बनता है।
एसिडिटी के लक्षण
लक्षणों पर ध्यान दें:
खट्टी डकारें, पेट में भारीपन, सीने और गले में जलन, थकान, सिरदर्द, अपच, और पेट में गुड़गुड़ाहट जैसे लक्षण एसिडिटी के संकेत हैं। कभी-कभी हाथ-पैर में जलन, भूख न लगना, बुखार और खुजली भी हो सकती है।
एसिडिटी के कारण
कारण जानें:
नया अन्न, तिल, उड़द, कुलथी की दाल, तेल और मसाले, खट्टी-तीखी चीजें, शराब का सेवन, और भोजन के तुरंत बाद सोना एसिडिटी को बढ़ा सकते हैं।
परहेज करने योग्य खाद्य पदार्थ
परहेज करें:
चरक संहिता के अनुसार, कुलथी की दाल, बेसन, और मैदा जैसी चीजें भारी होती हैं। नए चावल को पचाने में समय लगता है, इसलिए इन्हें खाने से बचें। पुराने चावलों को अच्छे से धोकर ही उपयोग करें।
एसिडिटी से राहत के उपाय
उपाय अपनाएं:
– तीन ग्राम पिप्पली चूर्ण को आधा चम्मच शहद के साथ भोजन से पहले लें।
– शाम को आधा गिलास नींबू पानी पीना फायदेमंद है।
– हरड़, बहेड़ा, आंवला और मुलेठी को समान मात्रा में मिलाकर उबालें और ठंडा होने पर एक चम्मच शहद के साथ सुबह पिएं।
– हरड़, पिप्पली, पिसा धनिया और मुनक्का को मिलाकर एक चम्मच शहद के साथ लें।
– शतावरी, गिलोय और मुलेठी को मिलाकर चूर्ण बनाएं और दिन में दो बार खाने से पहले लें।