ग्रामीण सफाई कर्मियों का प्रदर्शन: मांगों को लेकर उठाई आवाज
सफाई कर्मियों ने ज्ञापन सौंपा
जींद में ग्रामीण सफाई कर्मचारियों ने अपनी लंबित मांगों के समाधान के लिए शनिवार को लघु सचिवालय में प्रदर्शन किया। उन्होंने ब्लॉक विकास एवं पंचायत अधिकारी को मांगों से संबंधित ज्ञापन सौंपा। इस धरने की अध्यक्षता गुलाब बिरौली ने की, जबकि संचालन पवन कुमार ने किया। यूनियन के राज्य महासचिव विनोद कुमार ने बताया कि पिछले 11 वर्षों में प्रदेश सरकार ने एक भी सफाई कर्मचारी की स्थायी भर्ती नहीं की है।
सरकार की वादाखिलाफी पर नाराजगी
विनोद कुमार ने कहा कि मुख्यमंत्री ने 27 हजार रुपये वेतन देने का वादा किया था, लेकिन यह अब केवल एक घोषणा बनकर रह गया है। इसी साल 11 जून को कबीर जयंती पर सिरसा में 2100 रुपये की बढ़ोतरी की घोषणा की गई थी, लेकिन इसके लिए कोई आधिकारिक पत्र जारी नहीं किया गया। जबकि शहरी सफाई कर्मियों के लिए पत्र 9 अगस्त को जारी किया गया था।
ग्रामीण क्षेत्रों में पदों की कमी
सफाई कर्मियों का वेतन बिना कारण रोका जाता है, जिससे उन्हें आर्थिक कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। ग्रामीण क्षेत्रों में सफाई कर्मियों की कमी के कारण सफाई कार्य प्रभावित हो रहा है। वर्तमान में 9754 से अधिक पद खाली हैं। कर्मचारियों ने मांग की है कि सभी सफाई कर्मियों को स्थायी किया जाए।
वेतन में सुधार की मांग
कर्मचारियों ने मुख्यमंत्री से अनुरोध किया है कि ग्रामीण क्षेत्र के लिए 26 हजार और शहरी क्षेत्र के लिए 27 हजार रुपये का वेतन तुरंत लागू किया जाए। इसके साथ ही, महंगाई भत्ते को वेतन में जोड़ा जाए और 11 जून को की गई वेतन बढ़ोतरी को एरियर सहित लागू किया जाए।
अन्य मांगें
कर्मचारियों ने एक्ससग्रेशिया नीति लागू करने, मृतक कर्मचारियों के परिवार को 10 लाख रुपये मुआवजा और नौकरी देने की मांग की। इसके अलावा, ऑनलाइन हाजरी पर रोक लगाने और समय पर वेतन देने की भी मांग की गई।
