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डायबिटीज से बचाव के लिए आवश्यक टेस्ट: जानें क्या करें

चालीस वर्ष की आयु के बाद डायबिटीज जैसी बीमारियों से बचने के लिए कुछ महत्वपूर्ण परीक्षण कराना आवश्यक है। इस लेख में, हम उन परीक्षणों के बारे में चर्चा करेंगे जो आपको डायबिटीज के खतरे से बचाने में मदद कर सकते हैं। जानें एचबी ए-1 सी, लिपिड प्रोफाइल, रक्तचाप और अन्य महत्वपूर्ण परीक्षणों के बारे में।
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डायबिटीज से बचाव के लिए आवश्यक टेस्ट: जानें क्या करें

डायबिटीज से बचने के लिए महत्वपूर्ण परीक्षण

महत्वपूर्ण जानकारी: चालीस वर्ष की आयु के बाद डायबिटीज जैसी बीमारियों से बचने के लिए कुछ आवश्यक परीक्षण कराना चाहिए। ये परीक्षण आपको डायबिटीज के खतरे से बचाने में मदद कर सकते हैं। आइए जानते हैं इन परीक्षणों के बारे में।



1. एचबी ए-1 सी:
ग्लाइकेटिक हीमोग्लोबिन एक रक्त परीक्षण है, जो पिछले दो से तीन महीनों में व्यक्ति की डायबिटीज की स्थिति को दर्शाता है। यह परीक्षण डॉक्टर को उपचार के प्रभावी परिणामों का अनुमान लगाने में मदद करता है। इसे हर तीन महीने में एक बार कराना चाहिए।


2. लिपिड प्रोफाइल:
कोलेस्ट्रॉल के एचडीएल, एलडीएल और ट्राइग्लिसराइड्स का परीक्षण साल में एक बार अवश्य कराना चाहिए। इनकी बढ़ती मात्रा से न केवल डायबिटीज, बल्कि हृदय संबंधी बीमारियों का खतरा भी बढ़ सकता है।


3. रक्तचाप:
डायबिटीज और उच्च रक्तचाप एक-दूसरे से जुड़े होते हैं। एक अध्ययन के अनुसार, 60 प्रतिशत लोग डायबिटीज के बाद उच्च रक्तचाप का शिकार हो जाते हैं। इसलिए नियमित रूप से रक्तचाप की जांच कराना आवश्यक है।


4. एसीआर परीक्षण:
एल्ब्यूमिनुरिया-2 क्रिएटिनिन परीक्षण किडनी की स्थिति को दर्शाता है। डायबिटीज का असर किडनी पर भी पड़ सकता है, जिससे उच्च रक्तचाप और रक्त की कमी जैसी समस्याएं हो सकती हैं। डायबिटीज के रोगियों को साल में एक बार यह परीक्षण कराना चाहिए।


5. आंखों का परीक्षण:
डायबिटीज के कारण आंखों की रोशनी में कमी आ सकती है। मधुमेह के कारण होने वाली आंखों की बीमारी को रेटिनोपैथी कहा जाता है। इसलिए डायबिटीज के मरीजों को आंखों का परीक्षण कराना चाहिए।