लिवर कैंसर: शुरुआती लक्षण और जोखिम कारक

लिवर कैंसर के बारे में जानकारी
Liver Cancer Causes: लिवर मानव शरीर का एक अत्यंत महत्वपूर्ण अंग है। यह शरीर से टॉक्सिंस को बाहर निकालता है, रक्त को शुद्ध करता है, बाइल जूस का उत्पादन करता है जिससे वसा का पाचन बेहतर होता है, पोषक तत्वों को मेटाबॉलाइज करता है और ग्लाइकोजन को संग्रहित करता है। इसके अलावा, यह रक्त शर्करा के स्तर को नियंत्रित करने और इम्यून सिस्टम को सही तरीके से कार्य करने में मदद करता है। यदि लिवर में कोई समस्या होती है, जैसे लिवर डैमेज या लिवर कैंसर, तो व्यक्ति का सामान्य जीवन जीना कठिन हो जाता है। इस लेख में हम लिवर कैंसर के बारे में जानेंगे, इसके शुरुआती लक्षणों को पहचानने के तरीके और समय पर इसकी पहचान कैसे की जा सकती है।
स्टेज 1 लिवर कैंसर के लक्षण
लिवर कैंसर के प्रारंभिक संकेत
लिवर कैंसर तब होता है जब कैंसर की कोशिकाएँ लिवर में विकसित होने लगती हैं। लिवर में विभिन्न प्रकार के कैंसर हो सकते हैं, लेकिन सबसे सामान्य प्रकार हेपैटोसेलुलर कार्सिनोमा है, जिसे हिंदी में यकृत कैंसर कहा जाता है। यह मुख्य लिवर सेल में विकसित होता है। इसके अलावा, इंट्राहेपेटिक कोलेंजियोकार्सिनोमा और हेपेटोब्लास्टोमा लिवर कैंसर के दुर्लभ प्रकार हैं। अधिकतर लोग लिवर में विकसित कैंसर के बजाय लिवर तक पहुँच चुके कैंसर का शिकार होते हैं।
लिवर कैंसर के शुरुआती लक्षण अक्सर स्पष्ट नहीं होते हैं, लेकिन जैसे-जैसे कैंसर बढ़ता है, कुछ लक्षण दिखाई देने लगते हैं।
- अचानक वजन में कमी आना।
- भूख में कमी आना।
- उल्टी या बार-बार जी मितलाना।
- लिवर के पास और पेट के ऊपरी हिस्से में दर्द होना।
- शरीर में कमजोरी और लगातार थकान महसूस होना।
- त्वचा का पीला होना और आंखों में पीलापन आना।
- मल का सफेद, चॉक जैसा दिखना।
लिवर कैंसर के जोखिम कारक
लिवर कैंसर के जोखिम कारक
कुछ कारक हैं जो लिवर कैंसर के विकास की संभावना को बढ़ा सकते हैं:
क्रोनिक इंफेक्शन: हेपेटाइटिस बी (HBV) या हेपेटाइटिस सी (HCV) का क्रोनिक इंफेक्शन लिवर कैंसर के जोखिम को बढ़ाता है।
सिरोसिस: यह एक ऐसी स्थिति है जिसमें लिवर में स्कार टिशू बनते हैं, जिससे लिवर कैंसर विकसित हो सकता है।
डायबिटीज: रक्त शर्करा से संबंधित विकारों से ग्रस्त व्यक्तियों को लिवर कैंसर का खतरा होता है।
नॉन एल्कोहॉलिक फैटी लिवर: लिवर में वसा का जमाव और लिवर का क्षति लिवर कैंसर के खतरे को बढ़ाता है।
आनुवांशिक लिवर डिजीज: यदि किसी व्यक्ति को आनुवांशिक रूप से लिवर की बीमारी है, तो लिवर कैंसर का जोखिम बढ़ जाता है।