राजस्थान के किसान की थाई एप्पल प्लम से कमाई की कहानी

थाई एप्पल प्लम की खेती से बदल रही है किसानों की किस्मत
राजस्थान का नाम सुनते ही मिठाई का ख्याल आता है, लेकिन यहां के किसान अब बागवानी फसलों की खेती में भी आगे बढ़ रहे हैं। पानी की कमी के बावजूद, राजस्थान के किसान अब उत्तर प्रदेश, पंजाब, हरियाणा और बिहार के किसानों की तरह धान और गेहूं के अलावा थाई एप्पल प्लम की खेती कर रहे हैं। इससे उन्हें अच्छा मुनाफा हो रहा है। दौसा जिले के कालूराम जाट इस बदलाव का एक उदाहरण हैं।
कालूराम ने पारंपरिक फसलों को छोड़कर थाई एप्पल प्लम की खेती शुरू की है, जिससे वह प्रेरणास्रोत बन गए हैं। अब लोग उनसे इस फसल की खेती के बारे में सीखने आते हैं। वर्तमान में, वह 4 बीघा जमीन पर 800 थाई एप्पल प्लम के पौधे उगा रहे हैं और अच्छे पैसे कमा रहे हैं।
कालूराम ने तीन साल पहले इस फसल की खेती शुरू की थी। पहले साल ही पौधों पर फल आने लगे। पिछले दो वर्षों में, उन्होंने इस फसल से अच्छी कमाई की है। उन्होंने बताया कि एक पौधे की लागत 70 रुपये आई, जिससे 800 पौधों की कुल लागत 56,000 रुपये हुई। अब वह हर साल 2 लाख रुपये के फल बेचते हैं।
पहले कालूराम बाजरा, ज्वार, गेहूं और सरसों की खेती करते थे, लेकिन लाभ कम होने के कारण उन्होंने थाई एप्पल प्लम की खेती करने का निर्णय लिया। कृषि अधिकारियों की सलाह पर उन्होंने यह कदम उठाया और अब वह लाखों रुपये कमा रहे हैं।