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ऋतू अग्रवाल का भावुक पोस्ट: बहन मीशा के निधन के बाद मानसिक स्थिति पर चिंता

सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर मीशा अग्रवाल के निधन के एक महीने बाद उनकी बहन ऋतू अग्रवाल की मानसिक स्थिति पर चिंता बढ़ गई है। ऋतू ने हाल ही में अपने इंस्टाग्राम पर एक क्रिप्टिक पोस्ट साझा किया, जिसमें उन्होंने अपने निधन की बातें की हैं। उनका यह पोस्ट दर्शाता है कि वह गहरे सदमे में हैं और जीवन से हार मानने की स्थिति में हैं। इसके अलावा, उन्होंने डिप्रेशन और एंग्जायटी पर भी विचार किया है। जानें उनके भावुक संदेश के बारे में।
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ऋतू अग्रवाल का भावुक पोस्ट: बहन मीशा के निधन के बाद मानसिक स्थिति पर चिंता

मीशा अग्रवाल की बहन का दुखद हालात

ऋतू अग्रवाल का क्रिप्टिक पोस्ट: सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर मीशा अग्रवाल के निधन को एक महीना हो चुका है, और उनका परिवार इस दुख में गहरा डूबा हुआ है। मीशा को भुलाना उनके परिवार के लिए आसान नहीं है, लेकिन अब ऐसा प्रतीत हो रहा है कि उनकी बहन ऋतू अग्रवाल की मानसिक स्थिति ठीक नहीं है। ऋतू, जिन्होंने अपनी छोटी बहन मीशा को अपने बच्चे की तरह पाला, अब उसकी मौत से गहरे सदमे में हैं। रोजाना ऋतू अग्रवाल सोशल मीडिया पर अजीब बातें साझा कर रही हैं। हाल ही में, उन्होंने एक क्रिप्टिक पोस्ट साझा किया।


ऋतू का खुद के निधन पर विचार

ऋतू ने लिखा कि वह उस मूड में हैं कि सब कुछ डिलीट करके हमेशा के लिए गायब हो जाएं। इसके बाद, उन्होंने अपनी इंस्टाग्राम स्टोरी पर एक और पोस्ट साझा किया, जिसमें वह अपने निधन की बातें कर रही हैं। उनका यह पोस्ट देखकर ऐसा लगता है कि बहन के निधन के बाद उनकी मानसिक स्थिति ठीक नहीं है और वह तनाव में हैं।


ऋतू का वायरल पोस्ट

ऋतू ने अपने लेटेस्ट पोस्ट में लिखा, 'और जब मौत मुझे ढूंढे, मैं उम्मीद करती हूं कि वो धीरे से कहे, 'अब आ जाओ, लड़ाई खत्म हो गई', और प्यार से मेरा हाथ पकड़े, जैसे कोई पुराना दोस्त हो जो समझता हो कि मैं इतनी थकी हुई क्यों हूं।' इस पोस्ट से ऐसा लगता है कि वह जीवन से हार मान चुकी हैं और मौत की प्रतीक्षा कर रही हैं। छोटी बहन की आत्महत्या के बाद इस तरह की बातें करना फैंस के लिए दिल तोड़ने वाला है।


डिप्रेशन और एंग्जायटी पर ऋतू का पोस्ट

इसके अलावा, ऋतू ने एक और पोस्ट में डिप्रेशन और एंग्जायटी के बारे में बात की है। उन्होंने मीशा का एक क्लिप साझा किया और लिखा, 'ये डिप्रेशन इतना मेस्ड अप है… हमें दूसरों के सामने दिखावा करना पड़ता है कि हम ठीक हैं, ये छुपाना पड़ता है कि असल में अंदर क्या चल रहा है… हमें सेल्फिश क्यों नहीं हो सकते? हमें सेल्फिश होना चाहिए…।'