पाकिस्तान की दोहरी नीति: पुलवामा हमले पर एयर वाइस मार्शल का चौंकाने वाला बयान

पाकिस्तान की चालें फिर से उजागर
इस्लामाबाद की दोहरी नीति एक बार फिर सामने आई है। जहां पाकिस्तान पल्हलगाम हमले में अपनी निर्दोषता का दावा कर रहा था, वहीं उसके वायुसेना अधिकारी ने 2019 के पुलवामा हमले को 'रणनीतिक चालाकी' करार देकर खुद ही अपनी सच्चाई को उजागर कर दिया। इस हमले में 40 CRPF जवान शहीद हुए थे।
पुलवामा हमले को 'रणनीतिक प्रतिभा' बताया
पाकिस्तान के एयर वाइस मार्शल और PAF के जनसंपर्क निदेशक, औरंगज़ेब अहमद ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में पुलवामा हमले को अपनी 'रणनीतिक प्रतिभा' का उदाहरण बताया। यह बयान उस समय आया जब भारत 'ऑपरेशन सिंदूर' के तहत आतंकियों के ठिकानों को निशाना बना रहा है।
पाकिस्तान ने खुद कबूला पुलवामा हमला
पुलवामा हमले के बारे में पाकिस्तान ने हमेशा इनकार किया है। लेकिन शुक्रवार को एयर वाइस मार्शल औरंगज़ेब अहमद ने कहा, 'हमने पुलवामा में अपनी टैक्टिकल ब्रिलिएंस से संदेश देने की कोशिश की...' इस बयान ने पाकिस्तान के वर्षों पुराने झूठ को तोड़ दिया।
प्रेस कॉन्फ्रेंस में हुआ खुलासा
यह चौंकाने वाला बयान तब दिया गया जब प्रेस कॉन्फ्रेंस में कई मीडिया प्रतिनिधि और विदेशी पत्रकार मौजूद थे। औरंगज़ेब ने कहा, 'अगर पाकिस्तान की जमीन, जल, वायु या जनता को कोई खतरा होता है, तो हम समझौता नहीं कर सकते।' उन्होंने यह भी कहा कि पुलवामा के जरिए यह संदेश देने की कोशिश की गई थी।
पाकिस्तान का पुराना झूठ हुआ बेनकाब
पाकिस्तान ने हमेशा पुलवामा हमले में अपनी भूमिका से इनकार किया है। उस समय के प्रधानमंत्री इमरान खान ने इसे 'गंभीर मामला' बताया था, लेकिन सेना की भूमिका से इंकार कर दिया था। भारत द्वारा पेश किए गए डोजियर में हमलावर आदिल अहमद डार और जैश-ए-मोहम्मद के लिंक स्पष्ट थे, जिन्हें पाकिस्तान ने झुठला दिया।
ऑपरेशन सिंदूर के जरिए भारत ने दिया जवाब
पुलवामा हमले के जवाब में भारत ने ऑपरेशन सिंदूर के तहत जैश-ए-मोहम्मद के बालाकोट स्थित सबसे बड़े ट्रेनिंग कैंप पर एयरस्ट्राइक की थी। इस हमले में 12 मिराज-2000 विमानों ने आतंकियों के ठिकानों को तबाह किया। इसके बाद भारत और पाकिस्तान के बीच एयर डॉगफाइट भी हुई, जिसमें विंग कमांडर अभिनंदन वर्तमान को पाकिस्तान ने पकड़ लिया था, लेकिन कुछ ही दिनों बाद उन्हें रिहा कर दिया गया।
पहलगाम हमले पर पाकिस्तान की सफाई
हाल ही में हुए पल्हलगाम हमले को लेकर पाकिस्तान अपनी भूमिका से इंकार करता रहा है, लेकिन औरंगज़ेब का यह बयान उसकी दोहरी नीति को उजागर करता है। यह बयान साबित करता है कि पाकिस्तान की सेना न केवल भारत-विरोधी गतिविधियों में शामिल रही है, बल्कि इसे 'रणनीतिक जीत' के रूप में भी प्रचारित कर रही है।