अशोक सिद्धार्थ ने मायावती से मांगी माफी, पार्टी में वापसी की इच्छा जताई

अशोक सिद्धार्थ की माफी और पार्टी में वापसी की अपील
पूर्व सांसद अशोक सिद्धार्थ ने बसपा की प्रमुख मायावती से हाथ जोड़कर माफी मांगी है। उन्होंने कहा कि पार्टी में रहते हुए उनसे कुछ गलतियां हुई थीं, जिनके लिए वे खेद प्रकट करते हैं और अब वे पूरी निष्ठा के साथ बहनजी के मार्गदर्शन में कार्य करना चाहते हैं।
फर्रुखाबाद के निवासी अशोक सिद्धार्थ ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट साझा की। उन्होंने सबसे पहले पूर्व मुख्यमंत्री मायावती को ‘चरण स्पर्श’ कहा और लिखा कि ‘पार्टी के कार्य करते समय ‘जाने-अनजाने’ तथा गलत लोगों के प्रभाव में आकर जो भी गलतियां हुई हैं, उसके लिए मैं बहन जी से हाथ जोड़कर माफी मांगता हूं।
उन्होंने अपनी पोस्ट में यह भी कहा कि बहनजी ने दलितों, पिछड़ों और उपेक्षित वर्गों के हित में अपने जीवन का समर्पण किया है। मैं उनके चरणों में नमन करता हूं और अपनी सभी गलतियों के लिए क्षमा याचना करता हूं। पूर्व सांसद ने यह स्पष्ट किया कि वे रिश्तेदारी या किसी अन्य कारण से पार्टी में अनुचित लाभ नहीं उठाएंगे। उन्होंने यह भी कहा कि बसपा से निकाले गए नेताओं के पक्ष में वे कभी भी सिफारिश नहीं करेंगे।
सिद्धार्थ ने विशेष रूप से कहा कि वे महाराष्ट्र के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष संदीप ताजने और फिरोजाबाद के हेमंत प्रताप जैसे निष्कासित नेताओं को पुनः शामिल कराने की बात नहीं करेंगे। उन्होंने कहा कि अब मैं पुनः बहन जी से अपनी सभी छोटी-बड़ी गलतियों के लिए माफी मांगते हुए पार्टी में वापस लेने का विशेष आग्रह करता हूं।
ज्ञात हो कि मायावती ने कुछ महीने पहले अशोक सिद्धार्थ को पार्टी से बाहर निकाल दिया था। उन्होंने सोशल मीडिया पर लिखा था कि बसपा के राष्ट्रीय संयोजक आकाश आनंद के ससुर अशोक सिद्धार्थ, पूर्व सांसद व नितिन सिंह, ज़िला मेरठ को, चेतावनी के बावजूद भी गुटबाजी आदि की पार्टी विरोधी गतिविधियों में लिप्त होने के कारण पार्टी के हित में तत्काल प्रभाव से निष्कासित किया जाता है।
अशोक सिद्धार्थ पहले मायावती के करीबी नेताओं में से एक थे और उन्हें राज्यसभा में सांसद बनाया गया था।