आगरा में धर्मांतरण रैकेट का खुलासा: पाकिस्तान से जुड़े तार

धर्मांतरण रैकेट का भंडाफोड़
आगरा पुलिस ने शनिवार को एक बड़े धर्मांतरण रैकेट का पर्दाफाश किया है, जिसमें पाकिस्तान से जुड़े अंतरराष्ट्रीय संबंधों का खुलासा हुआ है। इस रैकेट में शामिल कई युवतियां पाकिस्तानी नागरिकों के संपर्क में थीं। जांच में यह सामने आया कि यह नेटवर्क इंटरनेट के विभिन्न माध्यमों जैसे सोशल मीडिया, ऑनलाइन गेमिंग प्लेटफॉर्म, एन्क्रिप्टेड चैट ऐप्स और डार्क वेब के जरिए संचालित हो रहा था।
लड़कियों को इस्लाम अपनाने के लिए प्रेरित किया जा रहा था
पुलिस अधिकारियों के अनुसार, पाकिस्तान से जुड़े लोग लड़कियों से संपर्क कर उन्हें इस्लामी मान्यताओं से अवगत कराते थे और धर्मांतरण के लिए प्रेरित करते थे। इस नेटवर्क में कुछ कश्मीरी महिलाएं भी शामिल थीं, जो हिंदू धर्म की आलोचना कर इस्लाम का प्रचार करती थीं। पुलिस का कहना है कि यह एक योजनाबद्ध प्रक्रिया थी, जिसमें किशोरियों और युवतियों को धीरे-धीरे मानसिक रूप से प्रभावित किया जाता था।
पूछताछ में चौंकाने वाले तथ्य सामने आए
आगरा के पुलिस कमिश्नर दीपक कुमार ने बताया कि 14 गिरफ्तार लोगों से पूछताछ की गई है और कई लड़कियों को सुरक्षित किया गया है। इनमें से एक 21 वर्षीय युवती ने उत्तराखंड में मजिस्ट्रेट के सामने भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा 183 के तहत बयान दिया है, जिसे इस मामले की मुख्य गवाह माना जा रहा है।
सोशल मीडिया पर नजर
पुलिस ने दो पाकिस्तानी नागरिकों, तनवीर अहमद और साहिल अदीम, की पहचान की है, जो सोशल मीडिया के माध्यम से युवतियों के संपर्क में थे। ये लोग धार्मिक विचारों को बढ़ावा देने और लड़कियों को प्रभावित करने का कार्य कर रहे थे।
गाजा से आर्थिक सहायता
यह नेटवर्क कथित तौर पर दो धर्मांतरण कर चुके व्यक्तियों, अब्दुल रहमान उर्फ रहमान चाचा (पूर्व में महेंद्र पाल) और आयशा (पूर्व में एसबी कृष्णा) द्वारा संचालित किया जा रहा था। एक अन्य आरोपी, रहमान कुरैशी, फंडिंग के लिए क्राउडफंडिंग और क्रिप्टोकरेंसी का उपयोग करता था। जांच में कुछ लेन-देन गाजा क्षेत्र से जुड़े लोगों से भी जुड़े पाए गए हैं।
कोडित भाषा का उपयोग
तीन आरोपी ऐसे हैं जो डार्क वेब और एन्क्रिप्टेड संचार में माहिर हैं। वे निगरानी से बचने के लिए कोडवर्ड और गुप्त भाषा का प्रयोग करते थे। पुलिस अब इस नेटवर्क के सभी लिंक और वित्तीय लेन-देन की विस्तृत जांच कर रही है।
अन्य जिलों में फैला नेटवर्क
देहरादून, बरेली, अलीगढ़, झज्जर और रोहतक से भी कई पीड़ित लड़कियों को बचाया गया है। उनसे पूछताछ जारी है ताकि नेटवर्क के पूरे दायरे और कार्यप्रणाली को उजागर किया जा सके।