इजरायल-ईरान संघर्ष: भारत के रक्षा सचिव से इजरायली अधिकारी की बातचीत

इजरायल और ईरान के बीच जारी युद्ध
ईजरायल और ईरान के बीच युद्ध जारी है। इस बीच, इजरायल के एक प्रमुख रक्षा अधिकारी ने भारत के रक्षा सचिव राजेश कुमार सिंह से फोन पर बातचीत की। हालांकि, दोनों देशों ने इस बातचीत के विवरण को साझा नहीं किया है। यह कॉल उस समय हुई है जब ईरान इजरायल के हमलों का जवाब अपने शक्तिशाली मिसाइलों से दे रहा है, और इजरायल इन हमलों को रोकने में असफल साबित हो रहा है। इसके अलावा, इजरायल को गोला-बारूद की कमी का सामना करना पड़ रहा है।
वर्तमान स्थिति की जानकारी
भारतीय रक्षा मंत्रालय के अनुसार, इजरायल के रक्षा मंत्रालय के पूर्व महानिदेशक आमिर बराम ने राजेश कुमार सिंह को मौजूदा स्थिति के बारे में जानकारी दी। भारत के रक्षा सचिव देश के गोला-बारूद और हथियारों के उत्पादन के लिए सीधे जिम्मेदार होते हैं। वे हथियारों की खरीद और गोला-बारूद के निर्यात के सभी पहलुओं का ध्यान रखते हैं।
ईरान का ऑपरेशन ट्रू-प्रॉमिस-3
ईरान ने इजरायल के ऑपरेशन राइजिंग लॉयन के जवाब में ऑपरेशन ट्रू-प्रॉमिस-3 की शुरुआत की है। ईरान ने इजरायल के सबसे बड़े शहर तेल अवीव पर हाइपरसोनिक मिसाइल फतह का उपयोग किया है, जबकि इजरायल की वायु रक्षा प्रणाली इन मिसाइलों को रोकने में असफल रही है।
एरो मिसाइल प्रणाली की कमी
इजरायल डिफेंस फोर्सेज (आईडीएफ) ईरान की लंबी दूरी की बैलिस्टिक और हाइपरसोनिक मिसाइलों को रोकने के लिए अमेरिका द्वारा विकसित एरो मिसाइल प्रणाली का उपयोग करती है। लेकिन जानकारी के अनुसार, इजरायल के पास एरो मिसाइलों की संख्या बहुत कम रह गई है। यदि अमेरिका मदद नहीं करता, तो इजरायल के लिए आने वाले दिन कठिन हो सकते हैं। एरो की रेंज लगभग 2400 किलोमीटर है, जिससे यह अनुमान लगाया जा रहा है कि इजरायल को भारत से गोला-बारूद या एयर डिफेंस सिस्टम की आवश्यकता हो सकती है।
ईरान के हमलों का प्रभाव
इजरायल कम दूरी की मिसाइलों जैसे रॉकेट और ड्रोन को नष्ट करने के लिए आयरन डोम का उपयोग करता है। रिपोर्टों के अनुसार, युद्ध के दौरान ईरान द्वारा दागी गई 300 मिसाइलों में से 40 ऐसी थीं जिन्हें एरो या आयरन डोम ने पहचान नहीं पाया। ईरान के हमले में इजरायल के हाइफा पोर्ट को भारी नुकसान हुआ है।
भारत और इजरायल के बीच रक्षा संबंध
भारत और इजरायल के बीच मजबूत रक्षा संबंध हैं। इजरायल ने हमेशा भारत की मुश्किल समय में मदद की है। हाल ही में, भारत ने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान इजरायली ड्रोन का उपयोग करके पाकिस्तान के आतंकवादी ठिकानों और रडार को नष्ट किया।
इजरायल की चुनौतियाँ
इजरायल पिछले दो वर्षों से हमास और हिजबुल्लाह जैसे आतंकवादी संगठनों के खिलाफ संघर्ष कर रहा है। इस दौरान, इजरायल को गोला-बारूद की कमी का सामना करना पड़ रहा है, विशेष रूप से लंबी दूरी की एरो मिसाइल प्रणाली की।