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इजरायल-तुर्की तनाव: मध्य पूर्व में बढ़ती हुई टकराव की आशंका

मध्य पूर्व में इजरायल और तुर्की के बीच तनाव एक बार फिर बढ़ता जा रहा है। कतर पर इजरायली हमले के बाद तुर्की ने तीखी प्रतिक्रियाएं दी हैं, जिससे युद्ध की संभावना बढ़ गई है। दोनों देशों के बीच आर्थिक और व्यापारिक संबंधों में दरार आ चुकी है, और सीरिया में उनकी भिन्न नीतियों ने स्थिति को और जटिल बना दिया है। क्या नाटो तुर्की की रक्षा करेगा? जानें इस जटिल स्थिति के बारे में अधिक जानकारी।
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इजरायल-तुर्की तनाव: मध्य पूर्व में बढ़ती हुई टकराव की आशंका

इजरायल-तुर्की तनाव

इजरायल-तुर्की तनाव: मध्य पूर्व में तनाव एक बार फिर गंभीर मोड़ पर पहुंच गया है। कतर पर इजरायली हमले के बाद तुर्की के प्रति दोनों देशों के बीच बयानबाजी तेज हो गई है। इजरायल के कई नेताओं ने तुर्की को अपना सबसे बड़ा दुश्मन बताया है। वहीं, तुर्की की ओर से भी तीखी प्रतिक्रियाएं सामने आ रही हैं। तुर्की के राष्ट्रपति रेचेप तैयप एर्दोगन के सलाहकार ने कहा है कि ज़ायोनी इजरायल जल्द ही नक्शे से मिट जाएगा। इस तरह की आक्रामक टिप्पणियों से दोनों देशों के बीच युद्ध की संभावना बढ़ गई है।


इजरायल की चिंताएं

इजरायल के विश्लेषकों ने तुर्की की पूर्वी भूमध्य सागर में मौजूदगी को एक बड़ा खतरा बताया है। उनका कहना है कि सीरिया के पुनर्निर्माण में तुर्की की भूमिका भी इजरायल के लिए चिंता का विषय है। अमेरिकन एंटरप्राइज इंस्टीट्यूट के वरिष्ठ फेलो माइकल रुबिन ने चेतावनी दी है कि तुर्की को नाटो पर भरोसा नहीं करना चाहिए, क्योंकि वह इजरायल का अगला लक्ष्य बन सकता है। सोशल मीडिया पर इजरायली शिक्षाविद मीर मसरी ने लिखा, 'आज कतर, कल तुर्की'।


इजरायल-विरोधी बयानबाजी

इजरायल-विरोधी बयानबाजी: तुर्की और इजरायल के बीच तनाव की जड़ें गहरी हैं। अगस्त में तुर्की ने इजरायल के साथ आर्थिक और व्यापारिक संबंध तोड़ दिए थे। इसके बाद से दुश्मनी बढ़ती जा रही है। अलजजीरा की रिपोर्ट के अनुसार, अंकारा में इजरायल-विरोधी बयानबाजी को गंभीरता से लिया जा रहा है और इसे क्षेत्रीय प्रभुत्व की साजिश माना जा रहा है। तुर्की में चर्चा चल रही है कि अगर इजरायल हमला करता है, तो क्या नाटो आर्टिकल-5 के तहत तुर्की की रक्षा के लिए सामने आएगा।


तनाव का बड़ा कारण

तनाव का बड़ा कारण: तनाव का एक बड़ा कारण सीरिया भी है। इजरायल, सीरिया में संघीय ढांचे और विभिन्न क्षेत्रों का समर्थन करता है, जबकि तुर्की नई सीरियाई सरकार को स्थापित करने की कोशिश कर रहा है। जब तुर्की ने होम्स और हमा में सैन्य ठिकाने बनाने की कोशिश की, तो इजरायल ने बमबारी की। इसके अलावा, भूमध्यसागर में भी दोनों देशों के बीच टकराव बढ़ रहा है। इजरायल के ग्रीस और ग्रीक-साइप्रस प्रशासन से गहरे संबंध हैं, जबकि तुर्की इसे अपने समुद्री अधिकारों पर हमला मानता है।


तुर्की के पूर्व नौसैनिक की चेतावनी

तुर्की के पूर्व नौसैनिक की चेतावनी: तुर्की के पूर्व नौसैनिक एडमिरल सेम गुर्देनिज ने चेतावनी दी है कि इजरायल की यह रणनीति तुर्की के 'ब्लू होमलैंड' सिद्धांत के लिए खतरा है। तुर्की में सुरक्षा एजेंसियों को सतर्क कर दिया गया है और किसी भी संभावित इजरायली हमले का जवाब देने की तैयारी शुरू कर दी गई है।