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ईरान-इजराइल संघर्ष: खुफिया युद्ध में मोसाद और VAJA की खतरनाक टकराहट

ईरान और इजराइल के बीच चल रही लड़ाई अब केवल मिसाइलों और ड्रोन के हमलों तक सीमित नहीं रह गई है। यह संघर्ष अब खुफिया एजेंसियों के बीच की खतरनाक टकराहट में बदल चुका है। इजराइल की मोसाद ने ईरान में व्यापक तबाही मचाई है, जबकि ईरान की VAJA ने जवाबी कार्रवाई शुरू कर दी है। जानें कैसे दोनों देशों की खुफिया एजेंसियां एक-दूसरे के खिलाफ गुप्त ऑपरेशनों में जुटी हैं और यह संघर्ष किस दिशा में बढ़ सकता है।
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ईरान-इजराइल संघर्ष: खुफिया युद्ध में मोसाद और VAJA की खतरनाक टकराहट

ईरान और इजराइल के बीच खुफिया जंग

ईरान और इजराइल के बीच चल रही लड़ाई अब केवल मिसाइलों और ड्रोन के हमलों तक सीमित नहीं रह गई है, बल्कि यह गुप्त ऑपरेशनों की एक खतरनाक लड़ाई में बदल गई है। इस संघर्ष का सबसे गंभीर पहलू अब दोनों देशों की खुफिया एजेंसियों के बीच की टकराहट बन चुका है। इजराइल की प्रसिद्ध खुफिया एजेंसी मोसाद ने ईरान में व्यापक तबाही मचाई है, जबकि ईरान की खुफिया एजेंसी VAJA ने जवाबी कार्रवाई शुरू कर दी है।


मोसाद का प्रभावी हमला

मोसाद ने सटीक खुफिया जानकारी के आधार पर ईरान की सैन्य और खुफिया संरचना को गंभीर नुकसान पहुंचाया है। इजराइल के प्रारंभिक हमलों में ईरान के उच्च रैंक के सैन्य अधिकारियों, वैज्ञानिकों और प्रमुख खुफिया अधिकारियों को निशाना बनाया गया। तेहरान में एक ही दिन में पांच से अधिक विस्फोट हुए, जिनमें कारों में बम लगाकर धमाके किए गए।


तेहरान में मोसाद का गुप्त ऑपरेशन

तेहरान की सड़कों पर पानी का संकट तब गहरा गया जब मोसाद के एजेंटों ने पानी की पाइपलाइन पर हमला किया। इस हमले के परिणामस्वरूप ईरान में पेयजल की कमी हो गई। रिपोर्टों के अनुसार, इजराइल का उद्देश्य ड्रोन और बम धमाकों के माध्यम से ईरान की आंतरिक व्यवस्था को बाधित करना था।


ईरान का जवाबी हमला: VAJA की सक्रियता

ईरान की खुफिया एजेंसी VAJA ने मोसाद के नेटवर्क को नष्ट करने के लिए एक व्यापक खोज अभियान शुरू किया है। अब तक, 6 मोसाद एजेंटों को गिरफ्तार किया गया है, जिनके पास से भारी मात्रा में विस्फोटक, हथियार और 23 ड्रोन बरामद हुए हैं। VAJA ने यह भी दावा किया है कि इजराइल के भीतर उनके एजेंट सक्रिय हैं और उन्होंने तेल अवीव में बिजली और पानी की आपूर्ति पर हमले किए हैं।


ड्रोन और एजेंटों की लड़ाई

ईरान ने यह भी खुलासा किया है कि मोसाद ने देश के भीतर एक गुप्त ड्रोन फैक्ट्री स्थापित की है। ड्रोन के पुर्जे तस्करी के माध्यम से लाए जा रहे हैं और उन्हें छोटे ट्रकों में तैयार किया जा रहा है, जैसे कि यूक्रेन में हुआ था। दूसरी ओर, ईरान ने इजराइल के कई प्रमुख ठिकानों की पहचान की है। यह खुफिया युद्ध यह दर्शाता है कि अब लड़ाई केवल सीमाओं तक सीमित नहीं है, बल्कि यह सड़कों, इमारतों, नेटवर्क और जल-विद्युत आपूर्ति तक पहुंच गई है। मोसाद और VAJA के बीच यह संघर्ष भविष्य में और भी खतरनाक मोड़ ले सकता है।