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उत्तर प्रदेश में राशन संकट: ई-केवाईसी न कराने वाले परिवारों को मिलेगी अंतिम चेतावनी

उत्तर प्रदेश में लाखों परिवारों को राशन संकट का सामना करना पड़ रहा है। राज्य सरकार की सख्ती के चलते, जो परिवार ई-केवाईसी प्रक्रिया पूरी नहीं कर पाए हैं, उन्हें राशन मिलने में कठिनाई हो सकती है। सितंबर का महीना इन परिवारों के लिए अंतिम अवसर है। यदि वे इस अवधि में आवश्यक प्रक्रिया पूरी नहीं करते हैं, तो उनका नाम राशन कार्ड से हटा दिया जाएगा। जानें इस स्थिति से बचने के लिए क्या कदम उठाने होंगे।
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राशन संकट का सामना कर रहे परिवार

उत्तर प्रदेश में लाखों जरूरतमंद परिवारों को अब राशन की कमी का सामना करना पड़ रहा है। राज्य सरकार की सख्त नीतियों के कारण, वे परिवार जो समय पर ई-केवाईसी प्रक्रिया पूरी नहीं कर पाए हैं, मुफ्त राशन योजना से बाहर हो सकते हैं। वर्तमान में, 3.43 लाख यूनिटों ने अभी तक ई-केवाईसी नहीं कराई है, जिसके चलते उन्हें राशन मिलना बंद हो गया है।


सितंबर का महीना इन परिवारों के लिए अंतिम अवसर है। यदि वे इस अवधि में ई-केवाईसी पूरी नहीं करते हैं, तो अक्टूबर से राशन वितरण रोका जा सकता है और उनके नाम राशन कार्ड से स्थायी रूप से हटा दिए जाएंगे।


जिला पूर्ति अधिकारी अंजनी कुमार सिंह ने स्पष्ट किया है कि राशन कार्ड में शामिल सभी सदस्यों के लिए ई-केवाईसी अनिवार्य है। उन्होंने बताया कि अब तक लगभग 88.2% लाभार्थियों ने प्रक्रिया पूरी कर ली है, जबकि मुखिया स्तर पर यह आंकड़ा 91.44% तक पहुंच चुका है।


हालांकि, 3 लाख से अधिक यूनिटें अभी भी नियमों का पालन नहीं कर रही हैं। अधिकारी ने कहा कि बार-बार चेतावनी देने के बावजूद लापरवाही बरती जा रही है।


जिन लोगों की ई-केवाईसी बाकी है, वे अपने नजदीकी राशन विक्रेता (कोटे की दुकान) पर जाकर इसे पूरा कर सकते हैं। जिला प्रशासन ने सभी संबंधित व्यक्तियों से अपील की है कि वे समय पर प्रक्रिया पूरी करें, ताकि अक्टूबर से राशन वितरण फिर से शुरू हो सके।


यदि कोई यूनिट इस अंतिम अवसर के बाद भी ई-केवाईसी नहीं कराती है, तो उसका नाम राशन कार्ड से पूरी तरह हटा दिया जाएगा। अधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि इसके बाद दोबारा नाम जोड़ने की कोई सुविधा नहीं दी जाएगी।