कनाडा-भारत संबंधों में सुधार की कोशिशें, अनीता आनंद ने जताई प्रतिबद्धता
कनाडा की विदेश मंत्री अनीता आनंद ने भारत के साथ संबंधों को मजबूत करने की इच्छा जताई है, जबकि खालिस्तान समर्थक हरदीप सिंह निज्जर की हत्या से द्विपक्षीय संबंधों में तनाव का भी उल्लेख किया। उन्होंने कानून के शासन के महत्व पर जोर दिया और कहा कि इस मामले की जांच स्वतंत्र एजेंसी द्वारा जारी रहेगी। आनंद ने अपने भारतीय समकक्ष के साथ बातचीत में आर्थिक सहयोग को बढ़ाने की दिशा में सार्थक चर्चा की।
May 30, 2025, 15:43 IST
| 
कनाडा की विदेश मंत्री का बयान
कनाडा की विदेश मंत्री अनीता आनंद ने बताया कि प्रधानमंत्री मार्क कार्नी की सरकार वैश्विक संबंधों को विविधता देने के लिए भारत के साथ सहयोग बढ़ाने के लिए इच्छुक है। हालांकि, उन्होंने यह भी स्वीकार किया कि खालिस्तान समर्थक हरदीप सिंह निज्जर की हत्या से द्विपक्षीय संबंधों पर नकारात्मक असर पड़ा है। आनंद ने कहा कि ओटावा इस रिश्ते को धीरे-धीरे आगे बढ़ा रहा है। वह खुद एक भारतीय-कनाडाई हैं और उन्होंने कनाडाई समाचार पत्र ग्लोब एंड मेल से बातचीत में कहा कि हम इस साझेदारी को आगे बढ़ाने के लिए तत्पर हैं।
कानून के शासन का महत्व
आनंद ने कानून के शासन के महत्व पर जोर देते हुए कहा कि इससे कभी समझौता नहीं किया जाएगा। भारतीय अधिकारियों और निज्जर की हत्या के बीच संभावित संबंधों के कारण कूटनीतिक तनाव उत्पन्न हुआ है। कनाडाई प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने हाउस ऑफ कॉमन्स में बताया कि जून 2023 में ब्रिटिश कोलंबिया के सरे में निज्जर की हत्या के बाद भारतीय एजेंटों के संभावित संबंधों का आरोप लगाया गया था। भारत ने इन आरोपों को निराधार और प्रेरित बताया। पिछले साल इस मामले में चार भारतीय नागरिकों को गिरफ्तार किया गया था। आनंद ने कहा कि निज्जर की हत्या से द्विपक्षीय संबंधों पर असर पड़ा है, और हम निश्चित रूप से एक-एक कदम आगे बढ़ा रहे हैं।
भारत के साथ संबंधों को मजबूत करने की दिशा में कदम
आनंद ने कार्नी के भारत के साथ संबंधों को नए सिरे से शुरू करने के विचार को दोहराया। उन्होंने कहा कि निज्जर की हत्या की जांच एक स्वतंत्र एजेंसी द्वारा जारी रहेगी। 25 मई को आनंद ने अपने भारतीय समकक्ष एस जयशंकर से बातचीत की, जिसमें कनाडा-भारत संबंधों को मजबूत करने और आर्थिक सहयोग को बढ़ाने पर सार्थक चर्चा हुई। आनंद ने जयशंकर के साथ मिलकर काम करने की इच्छा व्यक्त की। जयशंकर ने भी भारत-कनाडा संबंधों की संभावनाओं पर चर्चा की।