केले के छिलके के स्वास्थ्य लाभ: वैज्ञानिकों की नई खोज

केले के छिलके के अद्भुत फायदे
नई दिल्ली: केला लंबे समय से हमारे आहार का एक महत्वपूर्ण हिस्सा रहा है। यह न केवल स्वादिष्ट होता है, बल्कि ऊर्जा प्रदान करने के लिए भी जाना जाता है। आमतौर पर, केला खाने के बाद उसका छिलका फेंक दिया जाता है। हालाँकि, वैज्ञानिक अनुसंधानों से पता चला है कि यह छिलका वास्तव में स्वास्थ्य के लिए अत्यंत लाभकारी हो सकता है। अमेरिकन नेशनल लाइब्रेरी ऑफ मेडिसिन के अनुसार, केले के छिलके में कई प्राकृतिक तत्व होते हैं जो शरीर के लिए फायदेमंद साबित हो सकते हैं। इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट और एंटी माइक्रोबियल गुण शरीर में हानिकारक तत्वों को बाहर निकालने में मदद करते हैं।
जापान के वैज्ञानिक सोमेया और उनकी टीम ने एक अध्ययन में बताया कि केले के छिलके में गैलोकैटेचिन नामक एक शक्तिशाली एंटीऑक्सीडेंट पाया जाता है। यह हमारे शरीर को अंदर से साफ करने और बीमारियों से लड़ने में सहायता करता है। दूसरी ओर, इंडोनेशिया में एक रिसर्च में यह पाया गया कि छिलके में फ्लावोनोइड्स, टैनिन, और सैपोनिन जैसे तत्व फ्री रेडिकल्स से लड़ते हैं। ये फ्री रेडिकल्स शरीर की कोशिकाओं को नुकसान पहुंचाकर कैंसर जैसी गंभीर बीमारियों का कारण बन सकते हैं।
अनुसंधान में यह भी पाया गया कि छिलका एंटीबैक्टीरियल गुणों के साथ ई. कोलाई, साल्मोनेला और स्टेफाइलोकोक्स जैसे हानिकारक बैक्टीरिया को खत्म करने की क्षमता रखता है, जो पेट की समस्याओं, बुखार और अन्य बीमारियों का कारण बनते हैं। इसके अलावा, यह दांतों और मसूड़ों से संबंधित बैक्टीरिया को भी मारने में सक्षम है।
केले के छिलके में गैलिक एसिड, फेरुलिक एसिड, और कैटेचिन जैसे तत्व फंगस से लड़ने की क्षमता भी रखते हैं। कुछ शोधों में यह भी देखा गया है कि जब केले के छिलकों का उपयोग प्राकृतिक रंग के रूप में किया जाता है, तो उनकी एंटीबैक्टीरियल विशेषताएँ भी बनी रहती हैं। उदाहरण के लिए, यदि इस रंग का उपयोग कपड़ों को रंगने में किया जाए, तो यह कपड़ों को बैक्टीरिया से भी सुरक्षित रखने में मदद करता है।