नरवाना में विधवा पेंशन का धोखा: पति जिंदा, फिर भी पेंशन बनी

नरवाना में धोखाधड़ी का मामला
नरवाना में एक चौंकाने वाला धोखाधड़ी का मामला सामने आया है, जहां एक सीएससी संचालक ने एक अनपढ़ दंपति को ठगा। गांव हरनामपुरा के जसबीर और उनकी पत्नी कांता के साथ हुई इस घटना में, संचालक ने कांता की विधवा पेंशन बनवा दी, जबकि उनका पति जसबीर खुद बुढ़ापा पेंशन प्राप्त कर रहे थे।
इस धोखाधड़ी के लिए संचालक ने दंपति से 40 हजार रुपये लिए। मामले का खुलासा होने पर नरवाना पुलिस ने आरोपी के खिलाफ धोखाधड़ी का मामला दर्ज कर लिया है। यह घटना अनपढ़ और भोले-भाले लोगों के शोषण को उजागर करती है।नरवाना धोखाधड़ी
जसबीर और कांता ने पुलिस को बताया कि वे दोनों अनपढ़ हैं और गांव के दीपक फौजी, जो नरवाना में सीएससी सेंटर चलाते हैं, ने 2021 में उनके घर आकर बुढ़ापा पेंशन बनवाने का आश्वासन दिया। दीपक ने कहा कि उनके वोटर कार्ड के आधार पर उनकी उम्र 60 साल हो रही है और वह उनकी पेंशन शुरू करवा देगा।
इसके लिए उसने 40 हजार रुपये लिए। पेंशन शुरू भी हो गई, लेकिन धोखाधड़ी तब सामने आई जब एक आंगनबाड़ी कार्यकर्ता ने कांता से जसबीर का मृत्यु प्रमाण पत्र मांगा। कांता ने आश्चर्यचकित होकर बताया कि उनका पति जीवित है और बुढ़ापा पेंशन ले रहा है।
इस खुलासे ने स्पष्ट कर दिया कि दीपक ने दंपति को धोखे में रखकर कांता की विधवा पेंशन बनाई। जसबीर और कांता ने दीपक पर उन्हें गुमराह करने और धोखा देने का आरोप लगाया है।
नरवाना सदर थाना के जांच अधिकारी पवन कुमार ने बताया कि दंपति की शिकायत पर दीपक के खिलाफ धोखाधड़ी का मामला दर्ज कर लिया गया है और जांच जारी है। यह घटना न केवल सीएससी संचालकों की विश्वसनीयता पर सवाल उठाती है, बल्कि समाज में जागरूकता की आवश्यकता को भी दर्शाती है।
यह मामला हरियाणा के लोगों के लिए एक सबक है कि सरकारी योजनाओं का लाभ लेने से पहले दस्तावेजों और प्रक्रियाओं की पूरी जानकारी लेनी चाहिए। अनपढ़ और कमजोर वर्गों को ठगी से बचाने के लिए प्रशासन को और सख्त कदम उठाने होंगे। नरवाना पुलिस की त्वरित कार्रवाई इस मामले में न्याय की उम्मीद जगाती है, और यह घटना अन्य लोगों को सतर्क रहने का संदेश देती है।