पंजाब ट्रांसपोर्ट विभाग में भ्रष्टाचार के खिलाफ कार्रवाई, 7 कर्मचारियों पर मामला दर्ज

भ्रष्टाचार के खिलाफ विजिलेंस ब्यूरो की कार्रवाई
चंडीगढ़ - पंजाब के ट्रांसपोर्ट विभाग में भ्रष्टाचार के खिलाफ एक महत्वपूर्ण कार्रवाई की गई है। विजिलेंस ब्यूरो ने रीजनल ट्रांसपोर्ट अथॉरिटी के जिला कार्यालयों में चल रहे भ्रष्टाचार के मामलों पर ध्यान देते हुए गुरदासपुर, स्टेट इंस्टीट्यूट ऑफ ऑटोमोबाइल और ड्राइविंग स्किल सेंटर, महूआना जिला श्री मुक्तसर साहिब के कर्मचारियों और गुरदासपुर जिले में कार्यरत निजी दस्तावेज एजेंटों के बीच मिलीभगत का पर्दाफाश किया है।
विजिलेंस ने इस मामले में 7 आरोपियों के खिलाफ भ्रष्टाचार का मामला दर्ज किया है, जिनमें से मोटर व्हीकल इंस्पेक्टर सहित 4 को गिरफ्तार किया गया है।
गिरफ्तार किए गए मुख्य आरोपियों में गुरदासपुर के गांव मैदोवाल कलां के निवासी सुखदेव सिंह, जो एमवीआई और जीआई ड्राइविंग इंचार्ज हैं, अमित कुमार उर्फ शैली, जगप्रीत सिंह और राकेश कुमार शामिल हैं। विजिलेंस ब्यूरो ने अमृतसर रेंज में भ्रष्टाचार रोकथाम कानून, आईपीसी और आईटी एक्ट की संबंधित धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज की है। इसके अलावा, कुलबीर सिंह, राकेश कुमार और प्रतिभा शर्मा को गिरफ्तार करने के लिए छापेमारी की जा रही है।
जांच में यह भी सामने आया है कि एसआईएडीएस सेंटर महूआना द्वारा जारी किए गए 51 ड्राइविंग ट्रेनिंग सर्टिफिकेटों में से 23 जाली पाए गए हैं, जबकि रिकॉर्ड में केवल 27 सर्टिफिकेट नंबर सही पाए गए। इस मामले में कुलबीर डाक्यूमेंट्स सेंटर, शैली डाक्यूमेंट्स सेंटर, जीएमडी डाक्यूमेंट्स सेंटर और पंजाब डाक्यूमेंट्स के निजी एजेंटों की भूमिका भी उजागर हुई है, जिन्होंने रिश्वत के बदले आवेदकों को जाली दस्तावेज प्रदान किए। वित्तीय लेन-देन से यह भी पता चला है कि इन एजेंटों द्वारा पूर्व आरटीए डाटा एंट्री ऑपरेटर राकेश कुमार को प्रतिभा शर्मा के बैंक खातों में सीधे भुगतान किया गया था।