पीएम मोदी का पटना दौरा: चुनावी रणनीति और धैर्य का संदेश

पटना में पीएम मोदी का रोड शो
गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पटना में 72 मिनट का रोड शो किया। इस कार्यक्रम से पहले, उन्होंने पटना एयरपोर्ट के नए टर्मिनल का उद्घाटन किया और बिहटा एयरपोर्ट का शिलान्यास किया। इसके बाद, शाम 6:45 बजे, वे बीजेपी कार्यालय पहुंचे, जहां कार्यकर्ताओं के साथ बैठक की। इसके बाद, पीएम ने डिप्टी सीएम विजय सिन्हा के बेटे की सगाई में भाग लिया। उन्होंने पार्टी के स्थानीय नेताओं से बातचीत की और बिहार चुनाव की तैयारी पर जोर दिया।
राजनीतिक सूझबूझ का महत्व
सूत्रों के अनुसार, पीएम मोदी ने कहा कि बिहार के लोगों की राजनीतिक समझ देश में ही नहीं, बल्कि विश्व स्तर पर भी अद्वितीय है। उन्होंने बताया कि 1952, 1957 और 1962 में बिहार ने कांग्रेस को मौका दिया, लेकिन 1967 में उन्होंने कांग्रेस को सत्ता से बाहर कर दिया। पीएम ने कहा कि बिहार ने देश में पहली बार गैर-कांग्रेसी सरकार बनाकर वंशवादी राजनीति को नकारा। उन्होंने यह भी कहा कि राजनीति में धैर्य की आवश्यकता होती है और किसी भी स्थिति में जल्दबाजी में निर्णय नहीं लेना चाहिए।
धैर्य और रणनीति
बैठक के दौरान, पीएम ने कहा कि राजनीति में धैर्य आवश्यक है, जिससे यह संकेत मिलता है कि पार्टी इस चुनाव में मौजूदा विधायकों के टिकट काटने पर विचार कर सकती है। उन्होंने 'ऑपरेशन सिंदूर' का उल्लेख करते हुए कहा कि जो लक्ष्य निर्धारित किए गए थे, वे सभी प्राप्त हुए हैं। उन्होंने यह भी कहा कि देश के बहादुर सैनिकों ने आतंकियों के ठिकानों को नष्ट किया है और पीओके को वापस लेने की इच्छा को भी व्यक्त किया।
नेताओं के लिए सलाह
पीएम मोदी ने नेताओं को अनावश्यक बयानबाजी से बचने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि उन्हें सोच-समझकर ही बयान देना चाहिए और जिन विषयों पर जानकारी नहीं है, उन पर बोलने से बचना चाहिए। उन्होंने बूथ प्रबंधन के महत्व पर भी जोर दिया और कहा कि बीजेपी की ताकत उसके मजबूत बूथों में निहित है।
एकजुटता का संदेश
पीएम ने एनडीए के सभी सदस्यों से एकजुट होकर चुनाव लड़ने की अपील की। उन्होंने कहा कि पार्टी के सभी फोरम पर समाज के हर वर्ग का प्रतिनिधित्व होना चाहिए और सरकार की योजनाओं को आम जनता तक पहुंचाना आवश्यक है। इसके साथ ही, उन्होंने गुटबाजी से बचने की भी सलाह दी।