प्रधानमंत्री मुद्रा योजना में बड़ा बदलाव: लोन सीमा बढ़कर ₹20 लाख
प्रधानमंत्री मुद्रा योजना का महत्व
प्रधानमंत्री मुद्रा योजना (PMMY) एक महत्वपूर्ण सरकारी योजना है, जिसका उद्देश्य गैर-कॉर्पोरेट और गैर-कृषि लघु एवं सूक्ष्म उद्यमियों को व्यवसाय शुरू करने के लिए ऋण प्रदान करना है। पिछले वर्ष अक्टूबर में, सरकार ने लोन की अधिकतम सीमा को ₹10 लाख से बढ़ाकर ₹20 लाख कर दिया, जिससे लाखों लोग इस योजना का लाभ उठा रहे हैं।
मुद्रा योजना के तहत लोन श्रेणियाँ
इस योजना के अंतर्गत बैंक चार श्रेणियों में लोन प्रदान करते हैं, जो व्यवसाय की आवश्यकताओं और आकार के अनुसार निर्धारित की गई हैं।
शिशु श्रेणी
इस श्रेणी में ₹50,000 तक के लोन दिए जाते हैं, जो उन लोगों के लिए हैं जो अपना व्यवसाय शुरू कर रहे हैं या छोटे स्तर पर काम कर रहे हैं, जैसे कि छोटे दुकानदार या फेरीवाले।
किशोर श्रेणी
किशोर श्रेणी में ₹50,000 से ₹5,00,000 तक के लोन दिए जाते हैं, जो पहले से स्थापित व्यवसायों के लिए हैं, जिन्हें विस्तार या नई मशीनरी में निवेश के लिए अधिक पूंजी की आवश्यकता होती है।
तरुण श्रेणी
तरुण श्रेणी में ₹5 लाख से ₹10 लाख तक के लोन दिए जाते हैं, जो बड़े सूक्ष्म व्यवसायों के लिए हैं जिन्हें पर्याप्त कार्यशील पूंजी की आवश्यकता होती है।
तरुण प्लस श्रेणी
यह नई श्रेणी ₹10 लाख से ₹20 लाख तक के लोन प्रदान करती है, लेकिन यह केवल उन्हीं उद्यमियों को दी जाती है जिन्होंने पहले तरुण श्रेणी के तहत लोन लिया और उसे समय पर चुकाया।
लोन चुकाने की अवधि और ब्याज दरें
भारतीय स्टेट बैंक की वेबसाइट के अनुसार, मुद्रा योजना के तहत लोन चुकाने की अवधि और ब्याज दरें इस प्रकार हैं:
₹5 लाख तक के लोन: इस राशि के लोन को चुकाने के लिए 5 साल की समय सीमा होती है, जिसमें अधिकतम 6 महीने की मोहलत शामिल होती है।
₹5 लाख से ₹20 लाख तक के लोन: इस राशि के लोन को चुकाने के लिए 7 साल की समय सीमा होती है, जिसमें अधिकतम 12 महीने की मोहलत शामिल होती है।
एसबीआई के अनुसार, मुद्रा योजना के तहत दिए जाने वाले लोन के लिए ईबीएलआर 10 साल है, जिसमें 3.25 प्रतिशत का अतिरिक्त ब्याज शामिल है।
अधिक जानकारी के लिए
मुद्रा योजना से संबंधित अधिक जानकारी के लिए, आप अपनी नजदीकी बैंक शाखा से संपर्क कर सकते हैं।
