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भारत की विदेश नीति में आत्मविश्वास और प्रधानमंत्री मोदी का महत्व

विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने अमेरिका में भारतीय समुदाय के साथ बातचीत में प्रधानमंत्री मोदी के साथ अपने संबंधों को लेकर महत्वपूर्ण बातें साझा की हैं। उन्होंने बताया कि पीएम मोदी उनके कार्यों को अत्यधिक महत्व देते हैं, जो भारत की मजबूत विदेश नीति का एक बड़ा कारण है। जयशंकर का यह बयान अमेरिका के बदलते रुख के संदर्भ में आया है, जिससे यह स्पष्ट होता है कि भारत अब आत्मविश्वास के साथ वैश्विक मंच पर अपनी बात रख सकता है।
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भारत की विदेश नीति में आत्मविश्वास और प्रधानमंत्री मोदी का महत्व

विदेश मंत्री एस. जयशंकर का बयान

विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने अमेरिका में भारतीय समुदाय के साथ बातचीत के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ अपने संबंधों और भारत की विदेश नीति पर महत्वपूर्ण बातें साझा की। उन्होंने कहा कि पीएम मोदी उनके कार्यों और उनके बीच के संबंधों को "अत्यधिक महत्व" देते हैं, जो भारत की मजबूत विदेश नीति का एक प्रमुख कारण है।


जयशंकर का यह बयान उस समय आया है जब हाल के दिनों में अमेरिका का रुख भारत के प्रति थोड़ा नरम हुआ है। वाशिंगटन डीसी में एक कार्यक्रम में, उन्होंने कहा, "प्रधानमंत्री मोदी और मेरे बीच जो तालमेल है, उसे वे बहुत महत्व देते हैं। वह समझते हैं कि एक प्रधानमंत्री और विदेश मंत्री का एक सुर में बोलना देश के लिए कितना आवश्यक है।"


उन्होंने यह भी बताया कि जब देश के शीर्ष नेता एक समान दृष्टिकोण के साथ कार्य करते हैं, तो भारत अपनी बात को अधिक मजबूती और स्पष्टता से प्रस्तुत कर सकता है। इससे अन्य देशों को यह समझने में कोई भ्रम नहीं होता कि भारत किसी मुद्दे पर क्या सोचता है।


जयशंकर का यह बयान अमेरिका को एक संकेत भी माना जा रहा है। व्यापार और अन्य मुद्दों पर तनाव के बाद, अमेरिकी प्रशासन अब भारत के साथ संबंधों में थोड़ी नरमी दिखा रहा है। उनके शब्दों से यह स्पष्ट है कि भारत अब दुनिया के किसी भी देश से आंख में आंख डालकर बात करने की क्षमता रखता है, और इसका मुख्य कारण प्रधानमंत्री और विदेश मंत्री के बीच का अटूट विश्वास है। यह दर्शाता है कि भारत की विदेश नीति अब पहले से कहीं अधिक स्थिर और आत्मविश्वास से भरी हुई है।