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भारत की सुदर्शन चक्र वायु रक्षा प्रणाली में रूस की महत्वपूर्ण भूमिका

भारत की सुदर्शन चक्र वायु रक्षा प्रणाली में रूस की महत्वपूर्ण भूमिका की उम्मीद जताई जा रही है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वतंत्रता दिवस पर इस प्रणाली का अनावरण किया, जो दुश्मनों के खतरों को बेअसर करने के लिए डिज़ाइन की गई है। रूसी राजदूत रोमन बाबुश्किन ने इस प्रणाली के महत्व और भारत-रूस संबंधों पर चर्चा की। जानें इस नई प्रणाली के बारे में और कैसे यह भारत की रक्षा क्षमताओं को बढ़ाएगी।
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भारत की सुदर्शन चक्र वायु रक्षा प्रणाली में रूस की महत्वपूर्ण भूमिका

सुदर्शन चक्र प्रणाली का महत्व

भारत की महत्वाकांक्षी सुदर्शन चक्र वायु रक्षा प्रणाली में रूस की महत्वपूर्ण भूमिका की उम्मीद जताई जा रही है। इस प्रणाली का अनावरण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर किया था। रूसी राजदूत रोमन बाबुश्किन ने इस संबंध में जानकारी दी, जिसमें उन्होंने मास्को की दीर्घकालिक रक्षा साझेदारी पर जोर दिया। सुदर्शन चक्र प्रणाली, जो भगवान कृष्ण के पौराणिक अस्त्र से प्रेरित है, दुश्मनों के खतरों को बेअसर करने और सटीक आक्रमण करने के लिए डिज़ाइन की गई है।


बाबुश्किन का संवाददाता सम्मेलन

बुधवार को रूसी दूतावास में एक प्रेस वार्ता के दौरान, जब एक पत्रकार ने पूछा कि क्या भारत इज़राइल के आयरन डोम जैसी वायु रक्षा प्रणालियों पर विचार कर रहा है, तो बाबुश्किन ने मुस्कुराते हुए जवाब दिया, "क्या आप सुदर्शन चक्र का मतलब ले रहे हैं?" उन्होंने मजाक में कहा, "अगली बार हिंदी में पूछिएगा, मैं बेहतर जवाब दे पाऊँगा!"


भारत की S-400 प्रणाली

भारत पहले ही रूस से S-400 मिसाइल प्रणाली खरीद चुका है, जिसे भारतीय रक्षा हलकों में 'सुदर्शन चक्र' का नाम दिया गया है। यह प्रणाली हाल ही में पाकिस्तान के साथ झड़प के दौरान अपनी प्रभावशीलता साबित कर चुकी है।


प्रधानमंत्री मोदी की घोषणा

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वतंत्रता दिवस पर घोषणा की थी कि भारत 2035 तक एक स्वदेशी वायु रक्षा प्रणाली विकसित करेगा। यह प्रणाली दुश्मनों के हमलों को न केवल बेअसर करेगी, बल्कि कड़ा जवाब भी देगी। इस मिशन का नाम 'सुदर्शन चक्र' रखा गया है।


मिशन सुदर्शन चक्र की परिकल्पना

सुदर्शन चक्र परियोजना का उद्देश्य 2035 तक सामरिक और नागरिक बुनियादी ढाँचे को सुरक्षा प्रदान करना है। मोदी ने कहा कि सभी महत्वपूर्ण क्षेत्रों को एक व्यापक सुरक्षा कवच से ढकने का लक्ष्य है।


रूस के राजदूत का बयान

दिल्ली में, रूस के राजदूत रोमन बाबुश्किन ने भारत के खिलाफ अमेरिकी प्रतिबंधों के संदर्भ में कहा कि रूस के पास एक विशेष तंत्र है जो इन चुनौतियों का सामना करने में सक्षम है। उन्होंने भारत और रूस के बीच संबंधों में सुधार की उम्मीद जताई।


भारत-रूस ऊर्जा सहयोग

बाबुश्किन ने विश्वास जताया कि भारत-रूस ऊर्जा सहयोग बढ़ता रहेगा। उन्होंने कहा कि भारत के लिए यह एक चुनौतीपूर्ण स्थिति है, लेकिन दोनों देशों के बीच ऊर्जा संबंधों में आने वाली चुनौतियों का समाधान करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।