Newzfatafatlogo

भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों की कीमतें जल्द होंगी पेट्रोल के बराबर: नितिन गडकरी

केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने हाल ही में कहा कि भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों की कीमतें जल्द ही पेट्रोल वाहनों के बराबर होंगी। उन्होंने यह जानकारी FICCI हायर एजुकेशन समिट में दी, जहां उन्होंने स्वच्छ ऊर्जा के महत्व और भारतीय ऑटोमोबाइल उद्योग के विकास पर भी चर्चा की। गडकरी ने बताया कि अगले कुछ महीनों में इलेक्ट्रिक वाहनों की कीमतों में बदलाव आएगा, जिससे देश की आर्थिक स्थिति में सुधार होगा। इसके अलावा, उन्होंने शिक्षा और कौशल विकास पर जोर दिया, जिससे भारत को वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धी बनाने की दिशा में कदम उठाए जा सकें।
 | 
भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों की कीमतें जल्द होंगी पेट्रोल के बराबर: नितिन गडकरी

नितिन गडकरी का इलेक्ट्रिक वाहनों पर बयान

केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने इलेक्ट्रिक वाहनों के बारे में जानकारी दी: उन्होंने सोमवार को कहा कि भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों की कीमतें जल्द ही पेट्रोल वाहनों के स्तर पर पहुंच जाएंगी। यह जानकारी उन्होंने 20वीं FICCI हायर एजुकेशन समिट 2025 में साझा की और बताया कि देश के विकास के लिए स्वच्छ ऊर्जा का उपयोग आवश्यक है।


इलेक्ट्रिक वाहनों की कीमतों में बदलाव

गडकरी ने कहा, 'अगले चार से छह महीनों में इलेक्ट्रिक वाहनों की कीमतें पेट्रोल वाहनों के बराबर हो जाएंगी।' उन्होंने यह भी बताया कि भारत हर साल ईंधन आयात पर 22 लाख करोड़ रुपये खर्च करता है, जो आर्थिक बोझ और पर्यावरणीय खतरा है। मंत्री ने स्पष्ट किया कि स्वच्छ ऊर्जा का उपयोग देश की प्रगति को तेज करेगा।


भारतीय ऑटोमोबाइल उद्योग का लक्ष्य

गडकरी ने भारतीय ऑटोमोबाइल उद्योग को दुनिया में नंबर 1 बनाने का लक्ष्य रखा है। उन्होंने बताया कि जब वह मंत्री बने थे, तब भारत का ऑटो उद्योग 14 लाख करोड़ रुपये का था, जो अब बढ़कर 22 लाख करोड़ रुपये हो गया है। उन्होंने अमेरिका (78 लाख करोड़) और चीन (47 लाख करोड़) का उदाहरण देकर भारत की स्थिति को स्पष्ट किया।


स्वच्छ ऊर्जा और नवाचार के कदम

मंत्री ने किसानों द्वारा मक्का से ईथेनॉल उत्पादन के माध्यम से 45,000 करोड़ रुपये की अतिरिक्त आय का उल्लेख किया। उन्होंने बताया कि 2027 तक पूरे देश में ठोस कचरे का उपयोग सड़क निर्माण में किया जाएगा, जिससे न केवल कचरे का मूल्य मिलेगा बल्कि रोजगार और पर्यावरण सुरक्षा भी सुनिश्चित होगी।


शिक्षा और कौशल विकास पर ध्यान

गडकरी ने कहा कि उच्च शिक्षा और कौशल विकास देश की ताकत हैं। उन्होंने कहा, 'यदि हम युवाओं को सही शिक्षा और कौशल प्रदान करते हैं, तो भारत दुनिया में आगे बढ़ सकता है।' उन्होंने उच्च शिक्षा संस्थानों से तकनीकी नवाचार और प्रायोगिक शिक्षा को पाठ्यक्रम में शामिल करने की आवश्यकता पर जोर दिया।