महावतार नरसिम्हा: भारतीय एनिमेशन सिनेमा की नई ऊंचाई

महावतार नरसिम्हा फिल्म का परिचय
महावतार नरसिम्हा फिल्म: महावतार नरसिम्हा ने भारतीय सिनेमा में एक अद्वितीय मील का पत्थर स्थापित किया है। होम्बले फिल्म्स और क्लीम प्रोडक्शंस द्वारा निर्मित, और अश्विन कुमार द्वारा निर्देशित, यह एनिमेटेड पौराणिक महाकाव्य दर्शकों को मंत्रमुग्ध करने में सफल रहा है। भगवान विष्णु के नरसिम्हा अवतार पर आधारित इस फिल्म ने 2005 में आई हनुमान के बाद भारतीय एनिमेशन सिनेमा में एक नया मानक स्थापित किया है। आइए, इसके बॉक्स ऑफिस प्रदर्शन और महत्व पर एक नजर डालते हैं।
बॉक्स ऑफिस पर सफलता
महावतार नरसिम्हा ने 25 जुलाई 2025 को रिलीज होते ही बॉक्स ऑफिस पर धूम मचा दी। पहले दिन फिल्म ने 2.29 करोड़ रुपये की नेट कमाई की, जिसमें हिंदी संस्करण ने 1.51 करोड़ रुपये का योगदान दिया। शनिवार को, फिल्म ने 128% की वृद्धि के साथ 4.70 करोड़ रुपये (हिंदी में 3.25 करोड़ रुपये नेट) और रविवार को 9.25-9.75 करोड़ रुपये नेट (10.75-11.50 करोड़ रुपये ग्रॉस) की कमाई की। पहले वीकेंड में, फिल्म ने कुल 19 करोड़ रुपये ग्रॉस (15.50 करोड़ रुपये नेट) कमाए, जो भारतीय एनिमेशन फिल्मों के लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है।
भारतीय बॉक्स ऑफिस पर ऐतिहासिक सफलता
हिंदी संस्करण ने 13.50 करोड़ रुपये ग्रॉस (11+ करोड़ रुपये नेट) और तेलुगु ने 4.50 करोड़ रुपये ग्रॉस (3.85 करोड़ रुपये नेट) कमाए, जबकि अन्य भाषाओं (कन्नड़, तमिल, मलयालम) ने लगभग 75 लाख रुपये का योगदान दिया। यह फिल्म अब तक की सबसे ज्यादा कमाई करने वाली भारतीय एनिमेशन फिल्म बन गई है, जिसने हनुमान (2005) के 5.50 करोड़ रुपये नेट के रिकॉर्ड को तोड़ दिया है।
भारतीय एनिमेशन का नया युग
भारतीय सिनेमा में एनिमेशन फिल्मों का इतिहास हमेशा से कमजोर रहा है। 2005 में हनुमान ने 12 लाख दर्शकों के साथ 5.50 करोड़ रुपये नेट कमाए थे, जो उस समय एक बड़ी उपलब्धि थी। हालांकि, इसके बाद रोडसाइड रोमियो (4.54 करोड़ रुपये) और चार साहिबजादे जैसी फिल्में ज्यादा प्रभाव नहीं छोड़ पाईं। महावतार नरसिम्हा ने पहले दिन ही 1.35 करोड़ रुपये नेट (हिंदी में) कमाकर इतिहास रच दिया, जो किसी भी भारतीय एनिमेशन फिल्म के लिए अब तक का सबसे बड़ा ओपनिंग डे कलेक्शन है।
सफलता का महत्व
फिल्म की सफलता ने एनिमेशन सिनेमा की व्यावसायिक संभावनाओं को फिर से परिभाषित किया है। यह साबित करता है कि अगर भारतीय पौराणिक कथाओं को गुणवत्ता और ईमानदारी के साथ प्रस्तुत किया जाए, तो यह दर्शकों को सिनेमाघरों तक खींच सकती है। सोशल मीडिया पर प्रशंसकों ने इसकी तारीफ करते हुए लिखा, 'महावतार नरसिम्हा देखते समय ऐसा लगा जैसे मैं मंदिर में हूँ।'