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महिला कांस्टेबलों का विरोध: यूपी पीएसी कैंप में अव्यवस्थाओं के खिलाफ प्रदर्शन

उत्तर प्रदेश के पीएसी कैंप में महिला प्रशिक्षुओं ने अव्यवस्थाओं के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया है। लगभग 600 महिला कांस्टेबलों ने पानी, बिजली और शौचालयों की समस्याओं को लेकर अपनी आवाज उठाई। उन्होंने खुले में नहाने की मजबूरी और निजता के उल्लंघन के आरोप भी लगाए। प्रशासन ने इन समस्याओं को हल करने का आश्वासन दिया है, लेकिन प्रशिक्षुओं ने अपनी मांगों को लेकर धरना जारी रखा है। जानें इस मामले में और क्या हुआ है।
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महिला कांस्टेबलों का विरोध: यूपी पीएसी कैंप में अव्यवस्थाओं के खिलाफ प्रदर्शन

महिला प्रशिक्षुओं का विरोध प्रदर्शन

उत्तर प्रदेश के पीएसी कैंप में महिला प्रशिक्षुओं का एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से फैल रहा है, जिसमें लगभग 600 महिला कांस्टेबलों ने कैंप में व्याप्त अव्यवस्थाओं के खिलाफ अपनी आवाज उठाई। ये प्रशिक्षु 2023 बैच की हैं और विभिन्न जिलों से प्रशिक्षण के लिए आई हैं। उन्होंने पानी और बिजली की कमी के साथ-साथ अन्य समस्याओं के खिलाफ प्रदर्शन किया।


खुले में नहाने की मजबूरी

प्रशिक्षुओं का कहना है कि उन्हें न तो साफ पानी मिल रहा है, न ही नियमित बिजली की आपूर्ति है, और शौचालय भी ठीक से काम नहीं कर रहे हैं। कई महिला प्रशिक्षुओं ने बताया कि उन्हें नहाने के लिए सुरक्षित स्थान न मिलने के कारण खुले में नहाना पड़ रहा है। सोशल मीडिया पर एक वीडियो में कुछ प्रशिक्षुओं को अपनी समस्याएं बताते हुए देखा गया।


सड़क जाम कर किया विरोध

प्रशिक्षुओं ने अपनी समस्याओं को उजागर करने के लिए परिसर के बाहर सड़क जाम कर दी। अधिकारियों ने उन्हें समझाने की कोशिश की, लेकिन वे फिर से प्रशासनिक भवन के बाहर धरने पर बैठ गईं और स्पष्ट किया कि जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं होतीं, वे नहीं जाएँगी।


निजता का उल्लंघन

कुछ प्रशिक्षुओं ने यह भी आरोप लगाया कि शौचालयों के पास लगे सीसीटीवी कैमरे उनकी निजता का उल्लंघन कर रहे हैं। हालांकि, पीएसी कमांडेंट आनंद कुमार और जोन आईजी प्रीतिंदर सिंह ने जांच की और कहा कि यह दावा गलत है। शौचालयों के अंदर या आसपास कोई कैमरा नहीं है।


अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ कार्रवाई

कमांडेंट आनंद कुमार ने बताया कि शौचालयों और अन्य सुविधाओं का निर्माण कार्य चल रहा है। बिजली और पानी की समस्या तकनीकी कारणों से थी, जिसे अब हल कर लिया गया है। इसके अलावा, आपत्तिजनक भाषा के इस्तेमाल की शिकायत पर एक फिजिकल ट्रेनर को निलंबित कर दिया गया है। आईजी प्रीतिंदर सिंह ने कहा कि अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी और सोशल मीडिया पर गलत जानकारी फैलाने वालों की पहचान कर उनके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी।