राज कुशवाहा का विश्वासघात: सोनम रघुवंशी हत्या मामले में नया मोड़

राज कुशवाहा का काला सच
राज कुशवाहा मामला: 21 वर्षीय राज कुशवाहा, जिसे रघुवंशी परिवार ने अपने बेटे की तरह अपनाया था, ने उनके साथ काम किया, भोजन साझा किया और दुख में उनका सहारा बना। लेकिन उसी ने राजा की हत्या की साजिश रची।
राज कुशवाहा राजा रघुवंशी के अंतिम संस्कार में शामिल हुआ। उसने सोनम के पिता देवी सिंह को गले लगाया, उन्हें सांत्वना दी और पूरे परिवार के साथ खड़ा रहा। लेकिन किसी को नहीं पता था कि वह मासूमियत के पीछे असली अपराधी था। पुलिस की जांच में यह खुलासा हुआ कि वह पूरी साजिश का हिस्सा था और इंदौर में रहकर मामले को सामान्य दिखाने में लगा रहा।
फोन कॉल से खुली सच्चाई
फोन कॉल से खुली पोल
राजा के बड़े भाई विपिन ने बताया कि जब वह सोनम के भाई गोविंद के साथ मेघालय में थे, तब गोविंद लगातार राज से फोन पर बात कर रहा था। गोविंद ने कहा, 'मैं सब तुम्हारे भरोसे छोड़कर आया हूं, बिजनेस संभालते रहना', विपिन ने भारी मन से कहा। उन्हें तब अंदाजा नहीं था कि राज इस अपराध में शामिल हो सकता है।
परिवार के साथ सामान्य व्यवहार
दो दिन पहले तक कर रहा था परिवार से मुलाकात
सच्चाई सामने आने से दो दिन पहले तक राज सोनम के परिवार से मिल रहा था, बातें कर रहा था और सामान्य व्यवहार दिखा रहा था। 'वह आया और सभी से बातचीत की, किसी को जरा भी शक नहीं हुआ,' सोनम के पिता ने कहा।
बचपन के दोस्तों से मिली मदद
बचपन के दोस्तों से करवाई हत्या
पुलिस के अनुसार, राज ने सोनम के साथ मिलकर हत्या की साजिश रची और अपने तीन बचपन के दोस्तों—आकाश राजपूत, विशाल चौहान और आनंद कुर्मी को मेघालय भेजा। वहीं से हत्या की योजना को अंजाम दिया गया, जबकि राज इंदौर में रहकर सब कुछ नियंत्रित करता रहा।
राज का यह विश्वासघात उस परिवार के लिए असहनीय है जिसने उसे अपना माना। एक ऐसा युवक जिसने कभी उनके साथ भोजन किया, काम किया और अब उन पर इतना बड़ा जख्म दे गया।