सोने के दामों में वृद्धि: जानें क्या है भविष्यवाणी

सोने की कीमतों में हालिया बदलाव
सोने की कीमतें 27 अगस्त को: भारत में 25 प्रतिशत अतिरिक्त टैरिफ लागू होने के बाद सोने की कीमतों में वृद्धि हुई है। 24 कैरेट सोने की कीमत 380 रुपये बढ़कर 1,02,590 रुपये प्रति 10 ग्राम हो गई है, जबकि 22 कैरेट सोने की कीमत 350 रुपये की वृद्धि के साथ 94,050 रुपये पर पहुंच गई है। 18 कैरेट सोने की कीमत में भी 280 रुपये की बढ़ोतरी हुई है। लोगों के मन में यह सवाल है कि क्या भविष्य में सोने के दाम कम होंगे? विशेषज्ञों का मानना है कि फिलहाल सोने के दामों में गिरावट की कोई संभावना नहीं है।
विशेषज्ञों की राय
विशेषज्ञों के अनुसार, निकट भविष्य में सोने की कीमतों में कमी की संभावना बहुत कम है। इस बार के फेस्टिव सीजन में जैसे कि अक्षय तृतीया, धनतेरस और दिवाली, सोने की कीमतों में गिरावट की उम्मीद नहीं है। हालांकि, दीर्घकालिक निवेश के लिए सोना एक बेहतर विकल्प हो सकता है। गोल्ड ईटीएफ और डिजिटल गोल्ड जैसे विकल्प भी निवेश के लिए अच्छे माने जा रहे हैं। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मौजूदा स्थिति को देखते हुए भी कीमतों में कमी की संभावना कम है।
सोने के दामों में वृद्धि के कारण
अमेरिकी टैरिफ नीतियों और व्यापारिक तनाव के कारण वैश्विक आर्थिक अनिश्चितता बढ़ रही है, जिससे सोने में निवेश बढ़ रहा है। बड़े देशों में महंगाई के साथ आर्थिक मंदी की आशंका भी निवेशकों को सोने में सुरक्षित निवेश की ओर आकर्षित कर रही है। सोने की कीमतें अमेरिकी डॉलर की कीमतों से उलट संबंध रखती हैं। डॉलर की मजबूती से सोने की कीमतों पर दबाव पड़ता है।
हाल की कीमतों में गिरावट
हाल के महीनों में सोने की कीमतों में प्रति 10 ग्राम काफी गिरावट देखी गई थी। ऑपरेशन सिंदूर के बाद कीमतें 97,000 रुपये प्रति 10 ग्राम तक गिर गई थीं, लेकिन अब यह एक लाख रुपये के पार पहुंच गई हैं। आगे और गिरावट की संभावना बनी हुई है।
6-8 महीने का इंतजार करें
यदि आप सोना खरीदने की योजना बना रहे हैं, तो त्योहारी सीजन से पहले कीमतों पर ध्यान दें, क्योंकि मांग बढ़ने से कीमतें स्थिर या थोड़ी बढ़ सकती हैं। विशेषज्ञों का सुझाव है कि 6-8 महीने का इंतजार करना बेहतर हो सकता है, क्योंकि इस दौरान कीमतें 80,000-85,000 रुपये तक गिर सकती हैं। निवेश के लिए, गोल्ड ईटीएफ या सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड जैसे विकल्पों पर विचार करें, जो कीमतों में उतार-चढ़ाव से कम प्रभावित होते हैं।