Gaza संघर्ष में नया मोड़: नेतन्याहू ने ट्रंप की शांति योजना को किया स्वीकार

Gaza संघर्ष का नया अध्याय
Gaza संघर्ष: इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने सोमवार को गाजा में युद्ध समाप्त करने के लिए अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प द्वारा प्रस्तुत शांति प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया है। नेतन्याहू ने इसे संघर्ष समाप्त करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बताया और चेतावनी दी कि यदि हमास इसे अस्वीकार करता है, तो इजराइल को खुद कार्रवाई करनी पड़ेगी। उन्होंने कहा कि यह कार्य सरल या कठिन तरीके से किया जा सकता है, लेकिन इसे करना आवश्यक है।
नेतन्याहू का बयान
व्हाइट हाउस में ट्रंप के साथ एक संयुक्त संवाददाता सम्मेलन में नेतन्याहू ने अमेरिकी राष्ट्रपति की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि यह प्रस्ताव गाजा में युद्ध के उद्देश्यों को पूरा करेगा, सभी बंधक इजराइल लौटेंगे, हमास की सैन्य क्षमताओं और राजनीतिक शासन को कमजोर किया जाएगा, और भविष्य में गाजा इजराइल के लिए खतरा नहीं बनेगा। इसे गाजा के लिए व्यावहारिक और यथार्थवादी मार्ग बताया गया है, जिससे आगे रक्तपात से बचा जा सकेगा।
गाजा संघर्ष का ऐतिहासिक संदर्भ
26 नवंबर 2008 को लश्कर-ए-तैयबा के 10 पाकिस्तानी आतंकवादियों ने गाजा और उसके आस-पास के क्षेत्रों में हमले किए थे, जिसमें सैकड़ों लोग मारे गए थे और कई घायल हुए थे। नेतन्याहू ने इस ऐतिहासिक संदर्भ में कहा कि इजराइल ने इस संघर्ष में अपने सर्वोत्तम जवानों की बलि दी और हमास को कभी भी इजराइल के लिए खतरा बनने से रोकने का लक्ष्य रखा।
ट्रंप की शांति योजना
ट्रंप की शांति योजना व्हाइट हाउस ने 20 सूत्री रूपरेखा जारी की है, जिसमें गाजा को अंतरराष्ट्रीय संक्रमणकालीन तंत्र के अंतर्गत रखा जाएगा। हमास की स्वीकृति मिलने पर इजरायली सेना की चरणबद्ध वापसी की योजना है। इसमें अंतरराष्ट्रीय शांति बोर्ड और अस्थायी शासी निकाय का प्रस्ताव है, जो पुनर्निर्माण और सुरक्षा का प्रबंधन करेगा। इस व्यवस्था में फ़िलिस्तीनियों को गाजा छोड़ने की आवश्यकता नहीं होगी।
ट्रंप का ऐतिहासिक बयान
ट्रंप का ऐतिहासिक बयानट्रंप ने इसे शांति के लिए ऐतिहासिक दिन बताया। उन्होंने कहा कि यह केवल गाजा संघर्ष को समाप्त करने का प्रयास नहीं, बल्कि मध्य पूर्व में शांति की दिशा में एक बड़ा कदम है। उन्होंने विश्वास जताया कि प्रस्ताव को स्वीकार किया जाएगा और अरब एवं मुस्लिम देशों ने गाजा को सैन्य मुक्त करने के लिए प्रतिबद्धता जताई है।
हमास की स्वीकृति पर निर्भर समझौता
हमास की स्वीकृति पर निर्भर समझौतायह समझौता हमास की स्वीकृति पर आधारित है। कतर के प्रधानमंत्री और मिस्र के खुफिया प्रमुख ने वार्ताकारों के सामने योजना प्रस्तुत की। हमास के प्रतिनिधियों ने कहा कि वे इसे "सद्भावनापूर्वक" समीक्षा करेंगे और जवाब देंगे।
नेतन्याहू की कड़ी चेतावनी
नेतन्याहू की कड़ी चेतावनीनेतन्याहू ने कहा कि यदि हमास योजना को अस्वीकार करता है या इसका विरोध करता है, तो इजराइल को खुद ही कार्रवाई करनी पड़ेगी। उन्होंने फिलिस्तीनी प्राधिकरण की भूमिका पर भी संदेह जताया और कहा कि बिना वास्तविक और आमूलचूल परिवर्तन के पीए गाजा के भविष्य में कोई भूमिका नहीं निभा सकता।