उत्तर प्रदेश में धर्मांतरण के गिरोह का भंडाफोड़

धर्मांतरण के गिरोह की जांच
छांगुर बाबा मामला: उत्तर प्रदेश में धर्मांतरण के अवैध धंधे की जांच तेजी से चल रही है। इस गिरोह का सच धीरे-धीरे सामने आ रहा है। जानकारी मिली है कि जो महिलाएं धर्म परिवर्तन के लिए सहमत नहीं होती थीं, उनके साथ बलात्कार किया जाता था और उनका वीडियो बनाकर उन्हें धर्म परिवर्तन के लिए मजबूर किया जाता था। छांगुर बाबा ने महिलाओं के जबरन धर्म परिवर्तन का कार्य गिरोह की महिलाओं को सौंप रखा था। मुस्लिम युवक, जो नाम बदलकर आते थे, हिंदू परिवारों की महिलाओं और लड़कियों को प्रेम जाल में फंसाकर उनका धर्म परिवर्तन कराते थे। बताया गया है कि 1500 महिलाओं में से 700 का धर्म परिवर्तन नीतू रोहरा उर्फ नसरीन ने किया था। धर्म परिवर्तन के बाद महिलाओं को छांगुर से मिलने के लिए बलरामपुर जिले के माधौपुर गांव लाया जाता था।
धर्मांतरण का केंद्र माधौपुर
बलरामपुर के उतरौला थाने का माधौपुर गांव धर्मांतरण का मुख्य केंद्र बन गया था। यहीं जलालुद्दीन उर्फ छांगुर ने पूरे देश में धर्मांतरण का नेटवर्क स्थापित किया। धर्मांतरण के लिए तीन श्रेणियां बनाई गई थीं। पहली श्रेणी में गरीब और अनुसूचित जाति की महिलाओं को अपने जाल में फंसाकर धर्म परिवर्तन कराया जाता था। दूसरी श्रेणी में वे युवतियाँ थीं जो वेश्यावृत्ति में लिप्त गरीब महिलाओं का धर्म परिवर्तन कराती थीं। तीसरी श्रेणी में वे मुस्लिम युवक शामिल थे जो नाम बदलकर हिंदू लड़कियों को प्रेमजाल में फँसाकर उनका धर्म परिवर्तन कराते थे।
नसरीन के बाद अन्य महिलाओं की जांच
नसरीन के बाद दो और महिलाओं की जांच जारी है
छांगुर बाबा ने लोगों को फंसाने की जिम्मेदारी पहले से धर्म परिवर्तन कर चुकी महिलाओं को दी थी। नीतू उर्फ नसरीन के बाद दो अन्य महिलाएँ भी एटीएस की रडार पर हैं। ये दोनों महिलाएँ छांगुर के जाल में फँसकर इस्लाम धर्म अपना चुकी थीं। एक बौद्ध है जबकि दूसरी मुंबई की रहने वाली है। धर्म परिवर्तन का मामला तूल पकड़ने के बाद गायब हुईं इन दोनों महिलाओं की तलाश की जा रही है।
एक युवती की कहानी
अमित उर्फ अबू अंसारी ने लखनऊ की एक युवती को अपने प्रेमजाल में फँसाकर उससे शादी की थी। उसका निकाह मधपुर स्थित चाँद औलिया में कराया गया था। जब उसे अन्य महिलाओं का धर्म परिवर्तन कराकर उन्हें भी इस्लाम धर्म अपनाने का निर्देश दिया गया, तो वह भड़क उठी। किसी तरह उसने भागकर अपनी जान बचाई। आज वह बेसहारा जीवन जीने को मजबूर है। बताया जाता है कि नीतू उर्फ नसरीन ने अकेले ही करीब सात सौ महिलाओं का धर्म परिवर्तन कराया है।
एटीएस की पूछताछ
छांगुर और नसरीन ने अधिकारियों को उलझाया
धर्मांतरण मामले में रिमांड के तीसरे दिन, शनिवार को छांगुर और नीतू उर्फ नसरीन ने एटीएस अधिकारियों को उलझा दिया। एटीएस ने दोनों से मुंबई से बलरामपुर और फिर अब तक के उनके सफर के बारे में अलग-अलग पूछताछ की। छांगुर यही कहता रहा कि उसने विदेश से मिले पैसों का दुरुपयोग नहीं किया, बल्कि उसका इस्तेमाल सामाजिक कार्यों में किया। अपने खातों में जमा पैसों के बारे में नीतू ने बताया कि बाबा खुद उसके खातों का संचालन करता था। कई सवालों पर दोनों ने चुप्पी भी साधे रखी।
संदिग्ध उत्तर
अधिकारी दोनों के कई जवाबों से संतुष्ट नहीं हुए। दोनों से एक घंटे तक अलग-अलग पूछताछ करने के बाद उन्हें एक साथ बैठाया गया। कई सवाल दोबारा पूछे गए। एटीएस अधिकारी इस बात से हैरान रह गए कि कई सवालों के जवाब एक-दूसरे के सामने बदल गए।
सूत्रों के मुताबिक, इस बार खातों के संचालन के बारे में नीतू ने बताया कि वह चार-पाँच खातों से पैसे निकालती थी और छांगुर उसे बताता था कि कब किसे पैसे देने हैं। इसी तरह, नीतू के साथ हर समय रहने के बारे में छांगुर ने बताया कि नीतू अपने पति नवीन के साथ बंगले के अंदर रहती थी। जबकि अकेले में उसने बताया था कि नवीन अक्सर अलग रहता था। होटल में समय बिताने के बारे में दोनों के जवाब विरोधाभासी थे।