क्या गिग इकॉनमी में इंसानियत खो रही है? डिलीवरी ड्राइवर का दर्दनाक वीडियो वायरल

डिलीवरी ड्राइवर की भावनाएं
चीन से एक वीडियो ने सोशल मीडिया पर हलचल मचा दी है, जिसमें एक डिलीवरी ड्राइवर अपने काम के दौरान थक कर फूट-फूट कर रोता हुआ दिखाई दे रहा है। यह वायरल वीडियो गिग इकॉनमी की कड़वी सच्चाई और उसमें काम करने वाले श्रमिकों की शारीरिक और मानसिक पीड़ा को उजागर करता है। पीले यूनिफॉर्म और हेलमेट पहने यह व्यक्ति सड़क किनारे बैठकर उस दर्द को व्यक्त करता है, जो उसे रोजाना 10 घंटे काम करने के बाद सहना पड़ता है।
क्या इंसानियत पीछे छूट रही है?
इस वीडियो ने न केवल इंटरनेट पर लाखों लोगों को झकझोर दिया, बल्कि यह एक महत्वपूर्ण सवाल भी खड़ा किया कि क्या तकनीकी प्रगति के चलते इंसान की भावनाएं पीछे छूट रही हैं? यह डिलीवरी बॉय अपने आंसुओं के माध्यम से एक ऐसी कहानी बयां करता है, जो शायद कई लोग अपने दिल में छिपाए हुए हैं।
'हर दिन कुत्ते की तरह काम करता हूं'
वीडियो में वह शख्स कहता है कि अब मैं हर दिन 10 घंटे खाना डिलीवर करता हूं, एक कुत्ते की तरह थक जाता हूं और एक पल भी आराम नहीं कर सकता, क्योंकि जैसे ही मैं आराम करता हूं, जिंदगी मुझे भूखे पेट की सजा देती है। यह बयान लाखों लोगों की आंखों में आंसू ला देता है, क्योंकि यह उस असुरक्षित जीवनशैली की सच्चाई है जिसमें गिग वर्कर्स जूझ रहे हैं।
'काश मैंने पढ़ाई छोड़ी ना होती'
डिलीवरी बॉय आगे कहता है कि अगर आप मुझे एक और मौका दें, तो मैं मेहनत से पढ़ाई करूंगा, इतनी जल्दी स्कूल नहीं छोड़ता। वह अपने फैसले पर पछतावा जताते हुए बताता है कि कैसे उसने शिक्षकों की चेतावनी के बावजूद पढ़ाई छोड़ दी और अब उसका हर दिन पछतावे और थकान में गुजरता है। उसने आगे बताया कि मैं अपने माता-पिता को वो जिंदगी नहीं दे पा रहा जिसका वे हक रखते हैं और खुद भी वैसी जिंदगी नहीं जी पा रहा जैसी चाहता हूं। दिल टूट जाता है। पर मैं इस दर्द को किससे कहूं?
पहले भी सामने आ चुका है ऐसा मामला
यह पहला मामला नहीं है जिसने चीन को हिलाया हो। पिछले साल एक डिलीवरी ड्राइवर की मौत हो गई थी जब वह 18 घंटे की शिफ्ट के बाद अपनी बाइक पर ही झपकी लेते हुए दुनिया से चला गया। उसके दोस्तों का कहना था कि वह परिवार का इकलौता कमाने वाला था और कभी-कभी केवल 3 घंटे की नींद लेकर दोबारा काम पर लौट जाता था।