ज्योति मल्होत्रा केस: वकील का दावा, पुलिस के पास नहीं सबूत

ज्योति मल्होत्रा केस: वकील का बड़ा बयान
ज्योति मल्होत्रा का मामला हरियाणा में काफी चर्चा का विषय बना हुआ है। इस यूट्यूबर पर पाकिस्तान के लिए जासूसी का गंभीर आरोप लगाया गया है, जिसके चलते वह वर्तमान में जेल में हैं।
उनके वकील, कुमार मुकेश, ने एक महत्वपूर्ण दावा किया है कि हिसार पुलिस के पास इस मामले में कोई ठोस सबूत नहीं है। यह मामला हरियाणा में लोगों के बीच चर्चा का केंद्र बना हुआ है।
वकील का सनसनीखेज आरोप
कुमार मुकेश ने पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाते हुए कहा कि जासूसी जैसे गंभीर आरोपों के लिए ठोस सबूत होना आवश्यक है। लेकिन, उनके अनुसार, हिसार पुलिस के पास ऐसा कोई सबूत नहीं है।
उन्होंने बताया कि पंजाब पुलिस से प्राप्त एक पत्र के आधार पर ज्योति से पूछताछ की गई थी, और FIR केवल सुनी-सुनाई बातों पर दर्ज की गई।
FIR और पुलिस कस्टडी की प्रक्रिया
वकील ने FIR की प्रक्रिया पर भी सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि ज्योति पर लगाए गए आरोपों का आधार वही जानकारी है, जो पूछताछ के दौरान मिली।
कस्टडी नियमों के अनुसार, बिना कोर्ट की अनुमति के 24 घंटे तक किसी को कस्टडी में रखा जा सकता है। इसके बाद या तो रिहाई होगी या कोर्ट में पेशी होगी।
चार्जशीट की समय-सीमा
कुमार मुकेश ने चार्जशीट दाखिल करने की समय-सीमा पर जोर दिया। बीएनएस 152 के तहत, पुलिस को 90 दिनों के भीतर चार्जशीट पेश करनी होगी। यदि यह धारा हटी, तो 60 दिनों के भीतर चार्जशीट आवश्यक है।
उन्होंने कहा कि यदि पुलिस समय पर चार्जशीट दाखिल नहीं कर पाई, तो ज्योति को बेल मिल सकती है।
ज्योति का पक्ष
ज्योति ने अपने वकील से जेल में मुलाकात के दौरान कहा कि उन्होंने कुछ गलत नहीं किया है और वह अपने वकील पर भरोसा करती हैं।
ज्योति मल्होत्रा केस में सबूतों की कमी पुलिस के लिए एक चुनौती है। यदि जांच में ठोस सबूत नहीं मिले, तो उनकी रिहाई संभव है।