दिल्ली-एनसीआर में बारिश से ट्रैफिक जाम और जलजमाव की समस्या

दिल्ली-एनसीआर में ट्रैफिक जाम की स्थिति
दिल्ली-एनसीआर में ट्रैफिक जाम: पिछले रात से दिल्ली-एनसीआर के कई क्षेत्रों में जाम की समस्या बनी हुई है। कालिंदी कुंज, मथुरा रोड, रिंग रोड, जीटी करनाल रोड, रोहिणी, मधुबन चौक, आनंद विहार, दिलशाद गार्डन, क्रावल नगर रोड और बजीराबाद रोड पर जाम की स्थिति अभी भी बनी हुई है। सुबह से हुई भारी बारिश के कारण कई स्थानों पर ट्रैफिक की गति धीमी हो गई है। बारापुला पुल की ओर जाते समय एम्स के पास वाहनों की गति काफी कम रही, जिससे जाम की स्थिति उत्पन्न हुई। बारिश के कारण घर से बाहर निकलने से बचें, और यदि आवश्यक हो तो अतिरिक्त समय लेकर निकलें। दिल्ली पुलिस समय-समय पर एक्स प्लेटफॉर्म पर सलाह जारी कर रही है, जो जाम से बचने में मदद कर सकती है।
जलजमाव से उत्पन्न समस्याएं
जलजमाव की समस्या
दिल्ली-एनसीआर में रातभर बारिश के कारण कई स्थान जलमग्न हो गए हैं। मोतीबाग, आईटीओ, मुनिरिका, एपीएस कॉलोनी, पंचकुईंया रोड और रंजीत गन जैसे क्षेत्रों में पानी भर गया है, जिससे वाहनों की आवाजाही में कठिनाई हो रही है। कई वाहन खराब होने के कारण लंबी कतारें लग गई हैं।
रक्षाबंधन के कारण ट्रैफिक में वृद्धि
रक्षाबंधन पर जाम
गुरुग्राम, ग्रेटर नोएडा वेस्ट, नोएडा, आनंद बिहार, दिलशाद गार्डन और गाजियाबाद जैसे क्षेत्रों में शुक्रवार शाम से जाम की स्थिति बनी रही। रक्षाबंधन के अवसर पर छुट्टी होने के कारण लोग अपने गृह जनपदों की ओर रवाना हुए। वीकेंड पर त्योहार होने के कारण अधिकतर लोग घरों की ओर गए, जिससे शाम को ऑफिस के बाद सड़कों पर भारी भीड़ हो गई। देर रात तक लोगों की आवाजाही जारी रही। रक्षाबंधन पर खरीदारी के लिए भी लोग बाहर निकले, जिससे ट्रैफिक और बढ़ गया।
यात्रियों के लिए सलाह
यात्रियों के लिए सलाह
दिल्ली पुलिस ने लोगों से अपील की है कि त्योहार और वीकेंड के कारण NH-44 और सिंघु बॉर्डर का उपयोग न करें। उन्होंने कहा कि करनाल, पानीपत, सोनीपत और चंडीगढ़ जाने वाले लोग वैकल्पिक मार्गों का उपयोग करें। इसके साथ ही, पुलिस ने सार्वजनिक परिवहन का उपयोग करने की सलाह दी है।
भारत मंडपम के पास जल निकासी कार्य
जल निकासी कार्य
भारी बारिश के कारण कई सड़कें जलमग्न हो गई हैं। भारत मंडपम कन्वेंशन सेंटर के बाहर भी सड़क पूरी तरह से पानी में डूब गई। सड़क का पानी अंडरपास में जाने लगा, जिसके लिए बैरिकेडिंग की गई। जल निकासी के लिए मशीनें लगाई गई हैं।