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दिल्ली में कार धमाके की जांच में नया CCTV फुटेज सामने आया

दिल्ली के लाल किला मेट्रो स्टेशन के पास हुए कार धमाके की जांच में एक नया CCTV फुटेज सामने आया है, जिसमें तीन लोग एक सफेद हुंडई i20 कार का PUC करवाते हुए दिखाई दे रहे हैं। यह कार कथित आतंकवादी उमर मोहम्मद के नाम पर रजिस्टर की गई थी। एनआईए अब इस मामले के तार फरीदाबाद और कश्मीर तक जोड़ने में जुटी है। जांच में यह भी सामने आया है कि कार की बिक्री का इतिहास जटिल है और इसमें कई लोग शामिल हैं।
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दिल्ली में कार धमाके की जांच में नया CCTV फुटेज सामने आया

दिल्ली के लाल किला मेट्रो स्टेशन के पास धमाका


दिल्ली के लाल किला मेट्रो स्टेशन के निकट हुए भयानक कार विस्फोट की जांच में एक नया सीसीटीवी वीडियो सामने आया है, जिसने जांच की दिशा को बदल दिया है। इस वीडियो में तीन लोग उस सफेद हुंडई i20 कार का PUC करवाते हुए दिखाई दे रहे हैं, जो धमाके में नष्ट हो गई थी। यह वही दिन था जब कार कथित आतंकवादी उमर मोहम्मद के नाम पर रजिस्टर की गई थी। अब एनआईए इस पूरे मामले के तार फरीदाबाद और कश्मीर तक जोड़ने में लगी हुई है।


29 अक्टूबर का CCTV फुटेज

जांच एजेंसियों को प्राप्त हुआ यह वीडियो 29 अक्टूबर की शाम 4:20 बजे का है। फुटेज में नंबर HR 26CE 7674 वाली सफेद i20 कार PUC बूथ के पास खड़ी दिखाई देती है। एक व्यक्ति अधिकारी से बातचीत करता नजर आता है, जबकि दो अन्य लोग – एक ग्रे टी-शर्ट और दूसरा सफेद टी-शर्ट पहने हुए – वहां आते हैं। माना जा रहा है कि इनमें से एक दाढ़ी वाला व्यक्ति तारिक मलिक है, जो कार की खरीद-फरोख्त में शामिल था।


धमाके से पहले की गतिविधियाँ

पहले के वीडियो में यह कार सोमवार दोपहर 3:19 बजे लाल किला पार्किंग में प्रवेश करती हुई दिखाई दी थी। ड्राइवर सीट पर संदिग्ध उमर मोहम्मद था, जो पूरे समय कार के अंदर ही रहा। शाम 6:30 बजे कार पार्किंग से बाहर निकली और कुछ ही मिनटों बाद 6:52 बजे एक जोरदार धमाका हुआ। सूत्रों का कहना है कि उमर किसी के निर्देश या सिग्नल का इंतज़ार कर रहा था।


कार की बिक्री का इतिहास

पुलिस जांच में यह खुलासा हुआ है कि यह i20 कार अब तक सात लोगों के हाथों में घूम चुकी थी। इसके पहले मालिक मोहम्मद सलमान को गिरफ्तार किया जा चुका है। उन्होंने यह कार मार्च में देवेंद्र नामक व्यक्ति को बेची थी, जिसने आगे आमिर राशिद को सौंपी और अंततः कार उमर मोहम्मद तक पहुंची। बताया जा रहा है कि इस डील में तारिक मलिक भी शामिल था।


फरीदाबाद से जुड़े सुराग

धमाके के स्थल से केवल 50 किलोमीटर दूर फरीदाबाद में पुलिस ने 2,900 किलो विस्फोटक बरामद किए थे। सूत्रों के अनुसार, जब पुलिस ने इस मॉड्यूल के दो महत्वपूर्ण सदस्यों डॉ. मुझम्मिल शकील और डॉ. आदिल राथर को गिरफ्तार किया, तो उमर घबरा गया और उसने लाल किला के पास कार में लगा डेटोनेटर ब्लास्ट कर दिया। जांच में यह भी सामने आया है कि धमाके में अमोनियम नाइट्रेट का इस्तेमाल हुआ था।


एनआईए की जांच

गृह मंत्रालय ने इस धमाके की जांच एनआईए को सौंप दी है। एजेंसी ने सभी सीसीटीवी फुटेज, कॉल रिकॉर्ड्स और फॉरेंसिक रिपोर्ट अपने कब्जे में ले ली हैं। एनआईए यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि क्या यह हमला किसी बड़े आतंकी नेटवर्क से जुड़ा था। इस मामले को अब हाई-प्रोफाइल टेरर मॉड्यूल के रूप में देखा जा रहा है।