पंजाब में सुरक्षा के लिए सख्त नियम: मिलिट्री वर्दी, हुक्का और हथियारों पर पाबंदी

पंजाब में सुरक्षा के लिए नए आदेश
Punjab News: पंजाब के एक जिले में अब मिलिट्री वर्दी, हुक्का बार और हथियारों के प्रदर्शन पर सख्त प्रतिबंध लगाया गया है। यह निर्णय लोगों की सुरक्षा और शांति बनाए रखने के उद्देश्य से लिया गया है। आम जनता के लिए मिलिट्री रंग की वर्दी और वाहनों का उपयोग पूरी तरह से निषिद्ध रहेगा, ताकि कोई भी व्यक्ति इसका गलत इस्तेमाल न कर सके। हुक्का बार और सार्वजनिक स्थलों पर हुक्का पीने पर भी रोक लगाई गई है, जिससे युवाओं में नशे की लत को कम किया जा सके।
मिलिट्री रंग की वर्दी पर पाबंदी
जिला मानसा के डीएम कुलवंत सिंह ने भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा 163 का हवाला देते हुए आम लोगों के लिए मिलिट्री रंग की वर्दी और वाहनों के उपयोग पर प्रतिबंध लगा दिया है। उनका कहना है कि मिलिट्री रंग का दुरुपयोग कर कुछ शरारती तत्व देश की शांति में विघ्न डालते हैं, जिससे मानव जीवन को खतरा होता है। इसलिए अब कोई भी व्यक्ति मिलिट्री रंग की जीप, ट्रक, मोटरसाइकिल या वर्दी का उपयोग नहीं कर सकेगा।
अमन में बाधा का डर
डीएम ने बताया कि मिलिट्री रंग का उपयोग कर अपराधी आम जनता में भय पैदा करते हैं। इससे लोग भ्रमित हो सकते हैं और सुरक्षा बलों की छवि को नुकसान पहुँच सकता है। यह आदेश केवल आम लोगों के लिए है, सेना या सुरक्षा बलों के जवानों पर लागू नहीं होगा। उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
हुक्का बार पर पाबंदी
जिला मानसा में अब किसी भी दुकान, होटल, रेस्टोरेंट या सार्वजनिक स्थान पर हुक्का पीना या पिलाना मना होगा। डीएम ने कहा कि पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट के आदेश और स्वास्थ्य विभाग के निर्देशों के आधार पर यह निर्णय लिया गया है। हुक्का पीने से युवाओं में नशे की आदतें बढ़ रही थीं, जिससे समाज पर नकारात्मक प्रभाव पड़ रहा था। अब इस आदेश का सख्ती से पालन किया जाएगा।
सेहत को नुक़सान की चिंता
डीएम ने कहा कि हुक्का में उपयोग होने वाला तंबाकू और रसायन लोगों की सेहत के लिए अत्यंत हानिकारक हैं। इससे कैंसर, फेफड़ों की बीमारियाँ और हृदय रोग बढ़ सकते हैं। दुकानदारों को चेतावनी दी गई है कि आदेश की अवहेलना करने पर तुरंत दंडित किया जाएगा। यह निर्णय जनता के हित और स्वास्थ्य की सुरक्षा के लिए लिया गया है।
हथियार प्रदर्शन पर रोक
मानसा में अब किसी भी सार्वजनिक स्थान पर हथियार लेकर चलना, उनका प्रदर्शन करना या भड़काऊ भाषण देना पूरी तरह से मना है। इसमें गंडासा, कुल्हाड़ी, धारदार टोकुए और विस्फोटक सामग्री शामिल हैं। डीएम ने कहा कि ऐसे हथियारों का प्रदर्शन हिंसा और अशांति फैलाने का कारण बन सकता है, जिसे रोकना आवश्यक है।
जुलूस और नारेबाज़ी पर पाबंदी
सार्वजनिक स्थानों पर जुलूस, नारेबाज़ी और भड़काऊ प्रचार करने पर भी रोक लगा दी गई है। आदेश में कहा गया है कि यदि पांच या उससे अधिक लोग एक साथ इकट्ठा होकर माहौल बिगाड़ने की कोशिश करते हैं, तो उन पर कार्रवाई की जाएगी। यह आदेश तब तक लागू रहेगा जब तक हालात पूरी तरह सामान्य नहीं हो जाते।
किन पर लागू नहीं होगा
डीएम ने स्पष्ट किया कि यह आदेश सुरक्षा बलों, ड्यूटी पर तैनात पुलिस, सरकारी कार्यों, विवाह, धार्मिक सभाओं, शोक सभाओं और स्कूल-कॉलेज के बच्चों के जमावड़े पर लागू नहीं होगा। उनका कहना है कि मक़सद जनता की आज़ादी छीनना नहीं, बल्कि अमन-चैन बनाए रखना है।