महेंद्रगढ़ में सामाजिक न्याय पर प्रतियोगिता का आयोजन

समाज में छुआछूत और भेदभाव के खिलाफ जागरूकता
- समाज में छुआछूत और भेदभाव को समाप्त करने के लिए जागरूकता प्रतियोगिता का आयोजन किया गया।
- शिक्षा के माध्यम से युवाओं को सामाजिक बुराइयों के खिलाफ खड़ा होने का संदेश दिया गया।
महेंद्रगढ़: जिला कल्याण अधिकारी नारनौल ने राजकीय महाविद्यालय, महेंद्रगढ़ में सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग के दिशा-निर्देशों के तहत एक जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया। इस कार्यक्रम का उद्देश्य अस्पृश्यता और भेदभाव के खिलाफ जागरूकता फैलाना था। महाविद्यालय के कई छात्रों ने इस प्रतियोगिता में उत्साहपूर्वक भाग लिया।
शिक्षा से सामाजिक समस्याओं के प्रति जागरूकता
कार्यक्रम में प्राचार्य प्रो. डॉ. पूर्ण प्रभा ने छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि शिक्षा ही एकमात्र साधन है जिससे समाज में जागरूकता बढ़ाई जा सकती है। उन्होंने कहा, “शिक्षा के बिना हम समाज को एकजुट नहीं कर सकते।”
महाविद्यालय ऐसे अभियानों के लिए एक मंच है जहां छात्र सकारात्मक बदलाव ला सकते हैं। उन्होंने सभी प्रतिभागियों और विभाग की टीम का आभार व्यक्त किया।
निबंध और भाषण प्रतियोगिता का आयोजन
इस प्रतियोगिता में निबंध लेखन और भाषण प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। निबंध लेखन में कोमल ने पहला, संतोष कुमारी ने दूसरा और महेश सोनी ने तीसरा स्थान प्राप्त किया। भाषण प्रतियोगिता में राहुल ने पहला, खुशी भारती ने दूसरा और संतोष कुमारी ने तीसरा स्थान हासिल किया। विजेताओं को क्रमशः ₹1000, ₹600 और ₹400 की पुरस्कार राशि दी गई।
कार्यक्रम का संचालन प्रो. जितेन्द्र कुमार वशिष्ठ ने किया। प्राचार्य ने युवाओं को छुआछूत के खिलाफ जागरूकता फैलाने की शपथ दिलाई।
कार्यक्रम का समापन
कार्यक्रम में निर्णायक मंडल में डॉ. बलजीत सिंह, जितेन्द्र कुमार वशिष्ठ और डॉ. अश्विनी कुमार शामिल थे। डॉ. परमीत कुमारी ने सभी सहयोगियों और प्रतिभागियों का धन्यवाद किया।
यह आयोजन समाज में समरसता और जागरूकता को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। प्राचार्य ने विद्यार्थियों से अपील की कि वे शिक्षा के साथ-साथ समाज निर्माण में भी योगदान दें।