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हरियाणा में सरकारी कॉलेजों के लिए हिंदी में पत्र लेखन अनिवार्य

हरियाणा के उच्चतर शिक्षा निदेशालय ने सभी सरकारी कॉलेजों को निर्देश दिया है कि शिक्षा मंत्री को भेजे जाने वाले पत्र अब केवल हिंदी में लिखे जाएंगे। यह निर्णय हिंदी के उपयोग को बढ़ावा देने और राज्य की भाषाई पहचान को मजबूत करने के लिए लिया गया है। उल्लंघन करने पर कार्रवाई की चेतावनी भी दी गई है। जानें इस आदेश के पीछे के कारण और इसके महत्व के बारे में।
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हरियाणा में सरकारी कॉलेजों के लिए हिंदी में पत्र लेखन अनिवार्य

हरियाणा सरकार का नया निर्देश

हरियाणा सरकार के कॉलेज: हिंदी का सम्मान: शिक्षा मंत्री को भेजे जाने वाले पत्र अब केवल हिंदी में होंगे, उल्लंघन पर कार्रवाई की जाएगी: हरियाणा के उच्चतर शिक्षा निदेशालय (DHE) ने सभी सरकारी कॉलेजों को एक महत्वपूर्ण निर्देश दिया है कि शिक्षा मंत्री को भेजे जाने वाले सभी पत्र अब केवल हिंदी में लिखे जाएं।


यह निर्णय हिंदी के उपयोग को बढ़ावा देने और राज्य की भाषाई पहचान को मजबूत करने के उद्देश्य से लिया गया है। पहले, अधिकांश पत्र अंग्रेजी में होते थे, लेकिन अब इस नए नियम के तहत हिंदी को प्राथमिकता दी जाएगी। यदि कोई कॉलेज इन निर्देशों का पालन नहीं करता है, तो उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। आइए, इस आदेश के विवरण पर नजर डालते हैं।


उच्चतर शिक्षा निदेशालय ने प्रदेश के 184 सरकारी कॉलेजों को यह आदेश जारी किया है। यह पहली बार है जब हिंदी भाषा के उपयोग को लेकर इतना सख्त निर्देश दिया गया है।


अंबाला छावनी के राजकीय स्नातकोत्तर कॉलेज के प्राचार्य डॉ. देशराज बाजवा ने बताया कि DHE ने स्पष्ट किया है कि शिक्षा मंत्री के अनुमोदन या आदेश के लिए भेजे जाने वाले सभी पत्र हिंदी में होने चाहिए। यह कदम न केवल हिंदी को बढ़ावा देगा, बल्कि यह सुनिश्चित करेगा कि राज्य के कार्यालयों में स्थानीय भाषा को प्राथमिकता मिले।


पहले DHE द्वारा जारी होने वाले पत्रों में कुछ हिंदी में और कुछ अंग्रेजी में होते थे। हालांकि, दावा किया जाता था कि दोनों भाषाओं में पत्र जारी किए जाते हैं। अब शिक्षा मंत्री के हवाले से DHE ने यह स्पष्ट किया है कि हिंदी को प्राथमिकता देना अनिवार्य है।


यह आदेश इस बात को रेखांकित करता है कि जिस राज्य में जो भाषा बोली जाती है, वहां के कार्यालयों में उसी भाषा को वरीयता दी जानी चाहिए। यह नियम हिंदी की गरिमा को बढ़ाने और प्रशासनिक कार्यों में स्थानीय भाषा के उपयोग को प्रोत्साहित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।


इस आदेश का पालन न करने वाले अधिकारियों या कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की चेतावनी दी गई है। यह कदम हिंदी भाषा के प्रति सम्मान और इसके उपयोग को बढ़ावा देने की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। हरियाणा के राजकीय कॉलेजों को अब इस नियम का पालन सुनिश्चित करना होगा, ताकि शिक्षा मंत्री तक पहुंचने वाले सभी पत्र हिंदी में हों। यह पहल न केवल भाषाई गौरव को बढ़ाएगी, बल्कि प्रशासनिक कार्यों में पारदर्शिता और स्थानीयता को भी प्रोत्साहित करेगी।