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हरियाणा में सर्दी का नया रिकॉर्ड: मौसम विभाग की चेतावनी

हरियाणा में इस बार ठंड का मौसम पिछले 15 वर्षों का रिकॉर्ड तोड़ सकता है, जैसा कि भारतीय मौसम विभाग ने चेतावनी दी है। अक्टूबर में हुई भारी बारिश ने तापमान को औसत से नीचे ला दिया है। गुरुग्राम और हिसार में न्यूनतम तापमान 15.7 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया है। किसानों के लिए यह मौसम सरसों की बुआई के लिए अनुकूल है। जानें और क्या कहता है मौसम विभाग की ताजा रिपोर्ट!
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हरियाणा में सर्दी का नया रिकॉर्ड: मौसम विभाग की चेतावनी

हरियाणा मौसम अपडेट 15 अक्टूबर

हरियाणा मौसम अपडेट 15 अक्टूबर: इस बार हरियाणा में ठंड का मौसम पिछले सभी रिकॉर्ड्स को तोड़ सकता है! भारतीय मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि इस बार सर्दी पिछले 15 वर्षों का रिकॉर्ड तोड़ने की संभावना है।


अक्टूबर में हुई भारी बारिश ने तापमान को औसत से काफी नीचे ला दिया है। यदि आप हरियाणा में रहते हैं, तो इस ठंड के लिए तैयार रहिए। आइए, जानते हैं मौसम विभाग की नवीनतम रिपोर्ट और इस ठंड का प्रभाव!


भारी बारिश से तापमान में गिरावट

मौसम वैज्ञानिक डॉ. शिवेंद्र सिंह के अनुसार, अक्टूबर के पहले सप्ताह में 30 मिलीमीटर बारिश हुई, जो सामान्य 4 मिलीमीटर से 649% अधिक है। इससे तापमान में काफी गिरावट आई है।


न्यूनतम तापमान 15.7 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया है। यदि यह 10 डिग्री से नीचे चला गया, तो यह पिछले 15 वर्षों का सबसे ठंडा मौसम होगा। पिछला रिकॉर्ड 2020 में 28 अक्टूबर को 10.9 डिग्री का था। 2004 में पूरे अक्टूबर में 58.4 मिलीमीटर बारिश दर्ज की गई थी, जो इस बार के मौसम को और भी खास बनाती है।


गुरुग्राम-हिसार में ठंड बढ़ी

मौसम विभाग के आंकड़ों के अनुसार, गुरुग्राम और हिसार में न्यूनतम तापमान 15.7 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया है। यमुनानगर में अधिकतम तापमान 27.8 डिग्री रहा, जो सामान्य से 6 डिग्री कम है। नूंह में अधिकतम तापमान 33.4 डिग्री दर्ज किया गया। पहाड़ों पर ताजा बर्फबारी और उत्तर-पश्चिमी हवाओं ने मैदानी इलाकों में ठंड को बढ़ा दिया है। अब लोगों को गर्म कपड़े पहनने की आवश्यकता पड़ सकती है।


सरसों की बुआई के लिए सुनहरा अवसर

चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय, हिसार के डॉ. मदन खीचड़ ने बताया कि यह मौसम सरसों की बुआई के लिए बेहतरीन है। 17 अक्टूबर तक मौसम शुष्क रहेगा, दिन में हल्की धूप और रात में ठंड बढ़ेगी। किसानों को सलाह दी गई है कि वे अच्छी गुणवत्ता के सरसों के बीज बोकर इस मौसम का लाभ उठाएं। इससे फसल की पैदावार बेहतर होगी।