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अमेरिका में नौकरी बाजार में गिरावट: ट्रंप के कार्यकाल का प्रभाव

अमेरिका में राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के दूसरे कार्यकाल के दौरान नौकरी बाजार में गंभीर गिरावट आई है। अगस्त में केवल 22 हजार नई नौकरियों का सृजन हुआ, जबकि बेरोजगारी दर 4.3 प्रतिशत तक पहुँच गई। ट्रंप की टैरिफ-प्रधान नीतियों और बढ़ती महंगाई ने आम उपभोक्ताओं पर दबाव डाला है। इस रिपोर्ट में ट्रंप की इमिग्रेशन नीति और फेडरल रिजर्व के अध्यक्ष पर आरोपों का भी जिक्र है। जानें इस स्थिति का विस्तृत विश्लेषण।
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अमेरिका में नौकरी बाजार में गिरावट: ट्रंप के कार्यकाल का प्रभाव

अमेरिका में नौकरी बाजार की स्थिति

US Jobs Report 2025: अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के दूसरे कार्यकाल के सात महीने बाद, नौकरी बाजार में गंभीर गिरावट देखी गई है। अगस्त में जारी नई रोजगार रिपोर्ट के अनुसार, केवल 22 हजार नई नौकरियों का सृजन हुआ, जो अपेक्षाओं से काफी कम है। इसके साथ ही बेरोजगारी दर चार वर्षों के उच्चतम स्तर 4.3 प्रतिशत पर पहुँच गई है।


ट्रंप की नीतियों का प्रभाव

विशेषज्ञों का मानना है कि ट्रंप की टैरिफ-प्रधान नीतियों का असर अब अमेरिकी अर्थव्यवस्था पर स्पष्ट रूप से दिखाई दे रहा है। जून में अमेरिका ने 13 हजार नौकरियों का नुकसान उठाया, जो दिसंबर 2020 के बाद की सबसे बड़ी गिरावट है। मैन्युफैक्चरिंग और कंस्ट्रक्शन सेक्टर इस गिरावट से सबसे अधिक प्रभावित हुए हैं। आंकड़ों के अनुसार, अप्रैल से अब तक मैन्युफैक्चरिंग में 42 हजार और कंस्ट्रक्शन में 8 हजार नौकरियों की कमी आई है।


उपभोक्ताओं पर प्रभाव

आम उपभोक्ताओं पर इसका असर

चुनाव प्रचार के दौरान ट्रंप ने कहा था कि उनकी नीतियां अमेरिका में फैक्ट्रियों और नौकरियों को वापस लाएंगी, लेकिन वर्तमान आंकड़े इस दावे को चुनौती दे रहे हैं। इस बीच, महंगाई भी फिर से बढ़ने लगी है। अप्रैल में महंगाई दर 2.3 प्रतिशत थी, जो जुलाई में बढ़कर 2.7 प्रतिशत हो गई। बिजली की कीमतें भी इस साल 4.6 प्रतिशत तक बढ़ गई हैं। वॉलमार्ट और प्रॉक्टर एंड गैंबल जैसी कंपनियों ने अपने उत्पादों की कीमतें बढ़ा दी हैं, जिससे आम उपभोक्ताओं पर सीधा बोझ पड़ा है।


फेडरल रिजर्व पर आरोप

फेडरल रिजर्व के अध्यक्ष को ठहराया दोषी

खराब आर्थिक आंकड़ों के जवाब में, ट्रंप ने फेडरल रिजर्व के अध्यक्ष जेरोम पॉवेल को दोषी ठहराया और कहा कि यदि ब्याज दरें कम की जातीं, तो अधिक नौकरियां पैदा होतीं। हालांकि, अर्थशास्त्री चेतावनी देते हैं कि दरों में तेजी से कटौती करने से मुद्रास्फीति और बढ़ सकती है।


इमिग्रेशन नीति की चुनौतियाँ

ट्रंप की इमिग्रेशन पॉलिसी

एक और चुनौती ट्रंप की इमिग्रेशन नीति से जुड़ी है। उन्होंने अवैध प्रवासियों को निकालने का वादा किया था ताकि ब्लैक नौकरियां सुरक्षित रह सकें, लेकिन रिपोर्ट में यह सामने आया है कि ब्लैक बेरोजगारी दर 7.5 प्रतिशत तक पहुँच गई है, जो अक्टूबर 2021 के बाद का उच्चतम स्तर है। व्हाइट हाउस के शीर्ष आर्थिक सलाहकार केविन हैसेट ने इस रिपोर्ट को एक अपवाद बताते हुए कहा है कि अर्थव्यवस्था जल्द ही संभल जाएगी। उन्होंने अटलांटा फेडरल रिजर्व की 3 प्रतिशत तिमाही वृद्धि की भविष्यवाणी का हवाला दिया। हालांकि, मौजूदा हालात बताते हैं कि ट्रंप के दूसरे कार्यकाल में अमेरिका की अर्थव्यवस्था कई चुनौतियों का सामना कर रही है।